2018-01-23 16:30:00

भारत-पाकिस्तान सीमा पर तनाव बढ़ा


श्रीनगर, मंगलवार, 23 जनवरी 2018 (ऊकान): भारत एवं पाकिस्तान की सीमा पर सैनिकों द्वारा गोलीबारी के बाद से करीब 40,000 से अधिक ग्रामीणों को अपना घर छोड़ना पड़ा है जिससे हिंसा प्रभावित क्षेत्रों में आम लोगों के जीवन पर चिंता बढ़ रही है।

नियंत्रण रेखा के पार 18 जनवरी को सात नागरिकों सहित कम से कम 12 लोग मारे गए जिसके कारण कश्मीर में दोनों देशों के बीच एक सैन्य सीमा तय की गई है।

गोलाबारी 19 जनवरी को जब तेज हो गयी, तब भारत के जम्मू-कश्मीर राज्य में सीमावर्ती क्षेत्रों के लोग को अपने घरों से बाहर जाने और सुरक्षित सरकारी घरों में आश्रय लेने की चेतावनी दी गयी।

स्थानीय समाचार पत्रों से मिली जानकारी के अनुसार करीब 40,000 लोग सीमावर्ती इलाकों से भाग चुके हैं जिन्हें सामान्य जीवन में लाया जाना है क्योंकि ऐसी स्थिति में बच्चों के स्कूल जाने, कृषि कार्यों एवं मवेशियों की देखभाल में बाधा पहुँचती है।

एक सरकारी सलाहकार ने कहा, "जम्मू प्रांत के सीमा क्षेत्र के गाँव अंधकारपूर्ण एवं बंजर हो गये हैं। वह क्षेत्र लगातार खाली होता जा रहा है। लोग सुरक्षा के लिए भाग रहे हैं।"  

श्रीनगर के धर्माध्यक्ष इवान पेरेइरा ने परमाणु शक्ति वाले दक्षिण एशियाई प्रतिद्वंद्वियों के बीच बढ़ने तनाव पर चिंता व्यक्त की है।

उन्होंने ऊका समाचार से कहा, "परिस्थिति चिंताजनक है क्योंकि मूल्यवान मानव जीवन खोता जा रहा है। हम प्रार्थना करते हैं कि दोनों ओर की शत्रुता समाप्त हो।"    

भारत अक्सर पाकिस्तान को कश्मीर के भारतीय भाग में एक विद्रोह का समर्थन करने का आरोप लगाता है, पाकिस्तान ने इससे लगातार इनकार किया है।

धर्माध्यक्ष ने कहा कि वार्ता बिलकुल सही रास्ता है जिसके द्वारा बिना रक्तपात एवं शत्रुता के हल निकाला जा सकता है। हम दोनों देशों से अपील करते हैं कि वे वार्ता करें क्योंकि हिंसा मामले के समाधान का सही उपाय नहीं है।

जम्मू और काश्मीर के मुख्य मंत्री महबूबा मुफ्ती ने कहा कि राज्य के नागरिकों ने संघर्ष के कारण बहुत अधिक पीड़ा सही है।

उन्होंने कहा, "हम चाहते हैं कि दोनों देशों की शत्रुता खत्म हो जाएं। गोलीबारी की घटना सबूत हैं कि राज्य के लोग, पड़ोसी देशों के बीच उग्रता के शिकार हो रहे हैं।"

2014 से लेकर नवम्बर 2017 तक 55 लोगों की मौत इस गोलीबारी से हुई है तथा काश्मीर की सीमा पर 44 सैनिक मारे गये हैं। 








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