2018-01-17 12:31:00

सन्त पापा फ्राँसिस ने कारावास में महिला क़ैदियों से की बातचीत


सान्तियागो, बुधवार, 17 जनवरी 2018 (रेई, वाटिकन रेडियो): सान्तियागो में सन्त पापा फ्राँसिस ने मंगलवार को "सान हुआकिन" नामक महिला कारावास में क़ैदी महिलाओं से मुलाकात की। उन्होंने क़ैदियों से कहा कि हालांकि उन्होंने अपनी स्वतंत्रता को खो दिया है वे आशा और अपनी प्रतिष्ठा का परित्याग कदापि न करें।

सन्त पापा फ्राँसिस ने महिलाओं से कहा कि प्रत्येक व्यक्ति पापी है और यह कि मनपरिवर्तन सदैव सम्भव है। उन्होंने कहा, "कोई भी आपकी प्रतिष्ठा को छू नहीं सकता।"

चिली के अधिकारियों का आह्वान करते हुए सन्त पापा फ्रांसिस ने कहा कि कारावास केवल कड़ी सज़ा के लिये ही नहीं रहें बल्कि क़ैदियों के सुधार एवं उनके प्रशिक्षण का केन्द्र बनें ताकि कारावासों से रिहा लोग समाज में पुनः अपना स्थान बना सकें।

अपनी प्रेरितिक यात्राओं के दौरान कई बार सन्त पापा फ्राँसिस ने कारावासों की भेंट की है किन्तु यह पहली बार था जब उन्होंने महिला कारावास का दौरा कर यहाँ की महिलाओं का आशीष दी तथा उनकी बातों को सुना। सन्त पापा को देख कई महिलाएं रो पड़ीं तथा महिलाओं द्वारा सन्त पापा के आदर में रचित गीत के गाये जाने पर सन्त पापा भी भाव विभोर हो उठे।

सन्त पापा फ्राँसिस के समक्ष कई महिलाओं ने अपने साक्ष्य प्रस्तुत किये। जानेट ज़ूरिता नामक महिला क़ैदी ने कहा कि वे सभी महिलाओं की ओर से उनके अपराधों के लिये क्षमा की याचना करती हैं। जूरिता ने उन बच्चों के लिये भी दया की गुहार लगाई जो अपनी माताओं के साथ बन्दीगृहों में पनपने के लिये बाध्य हैं। उन्होंने कहा, "हम जानते हैं कि ईश्वर क्षमा कर देते हैं किन्तु हम समाज से भी क्षमा की अपील करते हैं।" 








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