2017-01-07 16:04:00

"हर दिन मौत की सजा", मिश्नरी फादर कुल्लेन


मनिला, शनिवार, 7 जनवरी 2017 (फीदेस) : ″फिलीपींस में गत माह 6000 मारिजुआना ड्रग और अन्य ड्रग डीलरों को मौत की सजा दी गई। तथा 1000 लोगों को ड्रग बेचने के संदेह के आधार पर मौत की सजा दी गई। यहाँ लंबी अदालत प्रक्रियाओं वाली कानून की आवश्यकता के बिना मौत की सजा दी जाती है। इस नीति के समर्थकों के अनुसार अपराधों को रोकने और आपराधिक संदिग्धों के उन्मूलन और निष्पादन में यह अधिक प्रभावी है। पर इस तरह मौत की सजा देना बहुत ही भयावह और क्रूरता है।″ उक्त बातें फिलीपींस में कार्यरत आयरलैंड के मिश्नरी फादर शाय कुल्लेन ने फीदेस को बताया।

फादर कुल्लेन "प्रेदा" संस्था के संस्थापक और निदेशक हैं। यह संस्था परित्यक्त बच्चों, शोषित महिलाओं और  ड्रग नशा उन्मूलन हेतु सामाजिक सेवा कार्य करती है। फादर ने कहा कि मौत की सजा देने की नीति को गैर सरकारी संगठनों द्वारा हाल के महीनों में कड़ी निंदा की गई परंतु इसपर कोई सुनवाई नहीं हुई बल्कि 76% फिलीपीन वासी इसके पक्ष में हैं।

फादर ने कहा कि संसद ने मौत की सजा के अभ्यास के खिलाफ बहसों के बावजूद इसकी मंजूरी दे दी है जिससे निर्दोष और संदिग्ध गरीब लोग अपने बचाव के लिए वकील करने में असमर्थ होने के कारण मौत की सजा पाते हैं। यह क्रूरता है। यह मनुष्य के जीवन के मूल्य और मानवता की गरिमा के खिलाफ है।

उन्होंने कहा कि अपराध को दबाने और अपराधी को सजा देने हेतु उचित कानूनी व्यवस्था होनी चाहिए। एक महीने में एक हजार संदिग्ध लोगों को मौत की सजा देने के इस तथ्य को कम करके आंका नहीं जा सकता है। निर्दोष और संदिग्ध ड्रग डीलरों को आरोप के खिलाफ खुद की रक्षा करने का अवसर नहीं दिया जाता है जो उनका संवैधानिक अधिकार है। इस हिंसा को रोकना चाहिए। इससे हजारों लोगों की मौत हो गई और यह शासन के कानून के खिलाफ है।








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