2016-08-17 16:22:00

कार्डिनल ग्रेसियस : कलीसिया हमेशा से भारत की शांति और सुलह का एक प्रतिनिधि है


मुंबई, बुधवार, 17 अगस्त 2016 ( एशिया समाचार) :  देश की 70वीं स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर मुम्बई महाधर्मप्रांत के महाधर्माध्यक्ष कार्डिनल ग्रेसियस ओसवाल्ड ने कहा,  “हमें अपने देश पर गर्व है। देश को विकास और प्रगति की दिशा की ओर आगे ले जाने में प्रत्येक नागरिक को अपनी भूमिका निभानी है।”

उन्होंने कहा कि राष्ट्र निर्माण के साथ-साथ, मानव समुदाय के विकास में भारत की काथलिक कलीसिया का बहुत बड़ा योगदान रहा है।

जाति और धर्म में भेदभाव किये बिना शिक्षा, स्वास्थ्य देखभाल तथा विभिन्न सामाजिक, राजनीतिक और सांस्कृतिक क्षेत्र में काथलिक कलीसिया का योगदान अद्वितीय है।

आंकड़ों से पता चलता है कि भारत में कलीसिया द्वारा चलाए जा रहे 85 प्रतिशत स्वास्थ्य देखभाल संस्थान गांवों में है जहां कलीसिया नि:स्वार्थ गरीबों की सेवा करती है। दूर दराज गावों तक उनकी पहुँच है। ख्रीस्तीय नैतिक सिद्धांतों के आधार पर जीवन के सम्मान में कोई वाद-विवाद नहीं है।

उन्होंने कहा कि 70वी स्वतंत्रता दिवस में हम माता मरियम के स्वर्गोदग्रहण का त्योहार मना रहे हैं। साथ ही इस आसाधारण दया के जुबली वर्ष में विभिन्न प्रांतों के अनेक पल्लियों में जुबली मना रहे हैं।

कार्डिनल ग्रेसियस ने खुशी जाहिर करते हुए कहा कि आजादी के 70 वें वर्ष में भारतीय नागरिकता प्राप्त धन्य मदर तेरेसा संत घोषित होंगी । भारत सरकार ने इसका स्वागत किया और उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल भी संत घोषणा समारोह में भाग लेगा।

भारत एक बहुधार्मिक और सांस्कृतिक भिन्नताओं का देश है इस तरह की विविधता अपनी दैवीय आशीर्वाद और कृपा प्रदान करती है। कलीसिया संवादात्मक मिशन द्वारा विभिन्न समूहों के बीच शांति और सुलह का एक माध्यम बन सकती है। आपसी गलतफहमी, घृणा, कलह और भेदभाव का विरोध करते हुए हम एक साथ न्याय, शांति और सद्भाव के एक राष्ट्र का निर्माण कर सकते हैं।








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