2015-02-26 15:32:00

चाईनिस बाईबल असोसिएशन की सभा ताईवान में


ताईवान, बृहस्पतिवार, 26 फरवरी 2015 (सीएनए)꞉ यूनाईटेड चाईनिस काथलिक बाईबिल असोसिएशन ने ताईवान में 10वें विश्व चाईनिस बाईबिल कॉंन्ग्रेस का आयोजन किया।

विश्वभर के 18 विभिन्न देशों के प्रतिभागियों ने गत माह आयोजित इस बाईबिल असोसिएशन में भाग लेकर पवित्र बाईबिल एवं नवीन सुसमाचार प्रचार में इसके महत्व पर चिंतन किया।

यूसीसीबीए की सचिव सेसिलिया कुई ने पत्रकारों से कहा, ″कॉन्ग्रेस का अनुभव, माता मरिया और उपस्थित सदस्यों पर पवित्र आत्मा प्रदान किये जाने के समान था जो नये पेंतेकॉस्त का एक हृदय स्पर्शी अनुभव था।″ उन्होंने कहा कि उन्हें कलीसिया एवं विश्व में बाईबिल के सक्रिय प्रेरित बनने हेतु नयी प्रेरणा तथा आशा प्राप्त हुई।

 ज्ञात हो कि यूसीसीबीए द्वितीय वाटिकन महासभा द्वारा प्रकाशित ‘देई वेरबुम’ की स्वर्ण जयन्ती मना रही है तथा वर्ष 2015 को, बाईबिल प्रेरितिक मिशन वर्ष घोषित किया है।

चीन की राजधानी ताईपेई में 22 से 26 जनवरी तक आयोजित बाईबिल कॉन्ग्रेस में लगभग 300 प्रतिनिधियों ने भाग लिया था। सभा की विषयवस्तु थी, ″विश्व के कोने-कोने में नवीन सुसमाचार का साक्ष्य।″  

चीन में आयोजित बाईबिल सभा में हॉगन्कॉग, मकाउ सिंगापूर, मलेशिया ब्रूनेई, जापान, ईंडोनेशिया, मयानमार, वियेतनाम फिलिपींस, ऑस्ट्रेलिया, न्यूजी लैंड, इटली, जर्मनी, इंगलैंड तथा कनाडा के प्रतिनिधि उपस्थित थे।

सभा में 6 धर्माध्यक्ष एवं अन्य लोकधर्मी उपस्थित हुए।

पाँच दिवसीय सभा में वेरबुम दोमिनी तथा एवनजेली गौदियुम के आलोक में यह चिंतन किया गया कि ईश वचन को बहु दृष्टिकोणों के साथ कलीसियाई जीवन और मिशन का केंद्र किस प्रकार बनाया जाए तथा समय के चिन्ह को प्रवचनों एवं साक्ष्यों द्वारा विभिन्न परिस्थितियों में किस प्रकार प्रस्तुत का जाए।








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