2014-01-03 14:22:45

असम से उठी अलग टाइम ज़ोन की माँग



भारत के पूर्वोत्तर राज्य असम से भारत के इकलौते टाइम ज़ोन में बदलाव करने की माँग करते हुए असम के मुख्यमंत्री तरुण गोगोई ने कहा है कि देश में एक टाइम ज़ोन होने के कारण पूर्वोत्तर के निवासियों को जल्दी सूर्योदय होने के कारण समस्या का सामना करना पड़ता है।
समाचार एजेंसी एएफ़पी से उन्होंने कहा, "असम और पूर्वोत्तर के अन्य राज्यों को अलग स्थानीय मानक समय की दरकार है जो भारत के मानक समय (आईएसडी) से कम से कम डेढ़ घंटा आगे हो।"
उन्होंने कहा, "पूर्वोत्तर में देश के बाक़ी हिस्सों की तुलना में काफ़ी पहले सूर्योदय होता है. हमारे लिए अलग टाइम ज़ोन का होना काफ़ी लाभदायक होगा. इससे हमें ऊर्जा बचाने में मदद मिलेगी."
बृहस्पतिवार को उन्होंने भारत के एक टाइम ज़ोन में बदलाव की बात कही. में गर्मियों के समय में सूर्योदय 4.30 बजे सुबह हो जाता है।
इसके लिए असम के मुख्यमंत्री दिल्ली में अपनी आवाज़ उठाने पर विचार कर रहे हैं. इस मुद्दे को सबसे पहले 2010 में उठाया गया था।
उन्होंने कहा "पूर्वोत्तर में देश के बाकी हिस्सों की तुलना में पहले सूर्योदय होता है. हमारे लिए अलग टाइम जोन का होना काफ़ी लाभदायक होगा. इससे हमें ऊर्जा बचाने में मदद मिलेगी।"
नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ़ एडवांस स्टडी़ज़ बंगलौर के दो वैज्ञानिकों ने इस मसले का अध्ययन करके 2007 में निष्कर्षों को प्रकाशित किया था। इसमें भारत के मानक समय को आधा घंटा आगे बढ़ाने की बात कही गई थी। ।छउनका दावा था कि इससे 2.3 अरब यूनिट बिजली की बचत होगी, शाम के समय ख़र्च होने वाली लगभग 18 फ़ीसदी ऊर्जा का इस्तेमाल रात के समय नागरिकों को आपूर्ति के लिए किया जा सकता है.
विदित हो अमरीका में प्रशांत क्षेत्र और अलास्का को छोड़कर चार टाइम-ज़ोन हैं, ऑस्ट्रेलिया में तीन टाइम ज़ोन हैं, जबकि रूस में नौ टाइम ज़ोन हैं













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