वाटिकन सिटीः पवित्रआत्मा ही मनुष्य को इतिहास के अन्तिम छोर तक ले जाते हैं, सन्त पापा
फ्राँसिस
वाटिकन सिटी, 13 मई सन् 2013 (सेदोक): वाटिकन स्थित सन्त मर्था आवास के प्रार्थनालय में,
सोमवार प्रातः, ख्रीस्तयाग के अवसर पर प्रवचन करते हुए सन्त पापा फ्राँसिस ने कहा कि
पवित्रआत्मा ही हमें इतिहास के अन्तिम छोर तक ले जाते हैं। काथलिक कलीसिया आगामी
रविवार को पेन्तेकॉस्त यानि पवित्र आत्मा के प्रेरितों पर अवतरण का महापर्व मना रही है।
इसी सन्दर्भ में, सन्त पापा ने विश्व के समस्त काथलिक धर्मानुयायियों से, इन दिनों, पवित्रआत्मा
से विनती करने का अनुरोध किया। सन्त पापा ने कहा, "कई ख्रीस्तीय धर्मानुयायी यह नहीं
जानते कि पवित्रआत्मा कैसे दिखते हैं। वे पिता ईश्वर एवं ईश पुत्र येसु ख्रीस्त को तो
जानते हैं किन्तु पवित्रआत्मा के महत्व को नहीं समझते।" सन्त पापा ने कहा कि इतिहास
के बिना ख्रीस्तीय धर्मानुयायी सच्चा ख्रीस्तीय धर्मानुयायी नहीं हो सकता और इतिहास के
अन्तिम छोर तक हमें ले जानेवाले केवल पवित्रआत्मा हैं जो हमें हमारे पूर्वजों के इतिहास
का स्मरण दिलाते हैं। इब्रानियों को लिखे सन्त पौल के पत्र को उद्धृत कर सन्त पापा ने
कहा कि इसमें लेखक कहते हैं, "विश्वास में अपने पूर्वज़ों की याद करो" अथवा "अपने विश्वास
के आरम्भिक दिनों की याद करो, तुम कितने साहसी थे", तब, उनका अभिप्राय इतिहास से ही था।
उन्होंने कहा कि इतिहास को याद करने का अर्थ है अपने पूर्वजों के विश्वास को याद
करना, अपने बीते जीवन को याद करना, प्रभु ख्रीस्त से साक्षात्कार द्वारा प्राप्त कृपा
की याद करना तथा उन सब बातों की याद करना जो प्रभु येसु ख्रीस्त के मुख से निकली थीं।
उन्होंने कहा कि इन सब बातों को याद रखने का क्षमता हमें पवित्रआत्मा की प्रेरणा से मिलती
है जिनसे सतत् प्रार्थना की नितान्त आवश्यकता है।