मलाला को नोबेल शांति पुरस्कार दिलाने के लिए अभियान
लंदन, 10 नवम्बर, 2012 (बीबीसी) पाकिस्तान की 15 वर्षीय मलाला युसुफजई को नोबेल शांति
पुरस्कार दिलाये जाने के अभियान का ब्रिटेन सरकार ने भी इस अभियान का समर्थन किया है। दुनियाभर
के तकरीबन 30 हजार लोगों ने इस ऑनलाइन अभियान में अपने दस्तखत किए हैं. विदित हो कि
15 वर्षीय मलाला पाकिस्तान में लड़कियों की पढ़ाई को लेकर अपने अभियान के कारण चर्चित
रही हैं। मलाला यूसुफजई पर 9 अक्तूबर को पाकिस्तान में जानलेवा हमला हुआ था लेकिन
मलाला बच गईं और इस समय ब्रिटेन में उनका इलाज चल रहा है। मलाला के पिता का कहना है
कि उनकी बेटी को नोबेल शांति पुरस्कार दिए जाने के लिए दुनिया भर से मिल रहे समर्थन से
मलाला काफी खुश है। ब्रिटेन के डॉक्टरों का कहना है कि मलाला की हालत में काफ़ी सुधार
है और उन्होंने प्रगति की नई मिसाल क़ायम की है। इस बीच शनिवार का दिन मलाला के नाम
पर 'ग्लोबल डे ऑफ़ ऐक्शन' घोषित किया गया है. "मलाला यूसुफजई ने ग्यारह साल की उम्र
में बीबीसी के लिए ‘गुल मकई’ डायरी लिखी थी और चरमपंथी संगठन तालिबान के नारी शिक्षा
पर प्रतिबंध का विरोध किया था। नोबल पुरस्कार के लिये चलाये जा रहे अभियान दल की
नेता शाहिदा चौधरी बतलाया कि ब्रिटेन के अलावा कनाडा, फ्रांस और स्पेन में मलाला को नोबेल
पुरस्कार दिलाये जाने के अभियान तेज हो गये हैँ।