नई दिल्ली, 7 नवम्बर, 2011 (कैथन्यूज़) संत पापा बेनेदिक्त के असीसी में दिये गये संदेश
के विस्तार के लिये वार्ता के लिये बनी परमधर्मपीठीय समिति के अध्यक्ष कार्डिन जाँन लुईस
तौराँन विभिन्न धर्मावलंबियो के नेताओं से मिलने के लिये भारत का दौरा कर रहे हैं। अपने
यात्रा के पहले चरण में वे पुणे के ज्ञानदीप विद्यापीठ में 6 से 9 नवम्बर तक आयोजित
चार दिवसीय सेमिनार में 30 सदस्यीय काथलिक प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व करेंगे। सेमिनार
की विषयवस्तु है " हिन्दु-ईसाई संबंध और न्याय, शांति और सद्भाव के क्षेत्र में सहयोग।
" अन्तरधार्मिक वार्ता समिति के सचिव महाधर्माध्यक्ष पियेर लुईजी चेलाता भी कार्डिनल
तौरान के साथ भारत गये हैं। अन्तरधार्मिक प्रबंध समिति के अध्यक्ष पूना के धर्माध्यक्ष
थोमस डाबरे ने कहा कि हिन्दु-ईसाई सद्भावना और सहयोग की दिशा में यह सेमिनार ऐतिहासिक
और अनोखा है जब संत पापा के प्रतिनिधि और प्रमुख हिन्दु धार्मिक नेता एक साथ मिलकर विचार-विमर्श
करेंगे। धर्माध्यक्ष ने कहा, "सेमिनार में वार्ता संबंधी विचार-विमर्श सिर्फ नहीं
होंगे, पर सभी प्रतिनिधि एक साथ रहेंगे, भोजन करेंगे, भ्रातृत्व और समानता की भावना को
सुदृढ़ कर एक साथ चलने का संकल्प लेंगे ।" धर्माध्यक्ष ने कहा कि सेमिनार में धर्म
और समाज के लिये इसके योगदान को गहराई से समझने का प्रयास किया जायेगा। आतंकवाद के विस्तार
में धर्म का दुरुपयोग पर विचार-विमर्श किये जायेंगे। आयोजक समिति के अध्यक्ष ने
बताया कि धार्मिक सद्भाव के अलावा कुछ सामाजिक मुद्दों जैसे- भ्रुण हत्या पर भी विचार
किये जायेंगे। उन्होंने कहा कि एक धर्म इसका विरोध करता हो पर दूसरे विरोध नहीं करते
इसलिये ज़रूरत है कि ऐसे सामुदायिक मंच में इन मुद्दों पर आम सहमति बनायी जाये। कार्डिनल
तौरान 11-12 नवम्बर को अमृतसर में सिक्ख धार्मिक नेताओं से मुलाक़ात करेगें। और कार्यक्रम
के अंत में नयी दिल्ली में जैन धार्मिक नेताओं से वार्ता के बाद रोम के लिये प्रस्थान
करेंगे।