2011-11-03 15:48:08

गुआदालूपे की माता मरिया उत्तरी और दक्षिण अमरीका के लोगों को संयुक्त करती हैं


रोम इटली 2 नवम्बर 2011 (सीएनए) लातिनी अमरीका के लिए कार्यरत परमधर्मपीठीय आयोग के आप्त सचिव गुजमान कारिक्वारी लेकोर ने हाल ही में इस तथ्य पर जोर दिया कि गुआदालूपे की माता मरिया उत्तरी और दक्षिण अमरीका के लोगों को एक साथ लाती हैं।
धन्य जोन पौल द्वितीय के प्रेरितिक उदबोधन “एक्लेसिया इन अमरीका” की ओर इंगित करते हुए उन्होंने कहा कि अवर लेडी औफ गुआदालूपे अर्थात गवादालुपे की माता मरिया अमरीका की संरक्षिका हैं और वे अमरीकियों और लातिनी अमरीकियों को एक ही परिवार के बेटे और बेटियाँ तथा भाई और बहन बनाती हैं। यही वह सामुदायिक बंधन है जिसका हमें काथलिकों, विभिन्न चर्चों तथा उत्तरी अमरीका और लातिनी अमरीका के लोकधर्मी काथलिकों के मध्य प्रसार करना है।
सीएनए को दिये साक्षात्कार में कारीक्वारी ने कहा कि उत्तरी और दक्षिणी अमरीका के लोग काथलिक विश्वास से संयुक्त हैं। उन्होंने स्मरण किया कि उत्तरी अमरीका में काथलिकों की पहली उपस्थिति न्यू ओरलियन्स से होती हुई कैलिफोरर्निया तक पहुँची वह काथलिक ही थी। उन्होंने कहा कि अमरीकी संस्कृति में चर्च के केन्द्र में हिस्पानिकों की उपस्थिति आगे भी बढ़ती रहेगी तथा अगले 10 से 15 वर्षों में अमरीका में रहनेवाले सब काथलिकों का आधी आबादी हिस्पानिक ही होंगे। उन्होंने कहा कि काथलिक विश्वास पुनः सब समूहों को संयुक्त करेगा। यह जरूरी है कि ये दो लोग एक दूसरे के प्रतिद्वंद्वी नहीं होंगे, एक दूसरे से बाधित नहीं होंगे लेकिन परस्पर समृद्धि के लिए उनके मध्य गहरा अंतरंग संबंध होगा।
ऊरूग्वे के मोंतिविदियो निवासी कारीक्वारी रोमी कार्यालय में उच्च पदस्थ लोकधर्मी हैं। उनके तीन बच्चे तथा तीन नाती पोते हैं। वे कोनसिलियुम देई लाइचिस तथा लोकधर्मियों संबंधी परमधर्मपीठीय कौंसिल में रहते हुए संत पापा बेनेडिक्ट 16 वें निकट सहयोगी रहे हैं। वे पुबेला में सन 1979 में, सान्तो दोमिनगो में सन 1992 में तथा सन 2007 में अपराचिदे में सम्पन्न लातिनी अमरीकी धर्माध्यक्षों की बैठकों में सलाहकार के रूप में सहभागी हुए हैं।








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