लन्दन, 27 जून सन् 2011 (बी.बी.सी.): सम्पूर्ण विश्व में इस समय 35 करोड़ व्यक्ति डायबीटीस
यानि मधुमेह रोग से ग्रस्त हैं।
विश्व स्वास्थ्य संगठन तथा गेट्स फाऊनडेशन द्वारा
संयुक्त रूप से किये गये एक शोध के बाद ब्रिटेन की लान्सेट पत्रिका में प्रकाशित आँकड़ों
के अनुसार विगत तीन दशकों में विश्व भर में मधुमेह रोग से पीड़ित वयस्कों की संख्या दुगुनी
हो गई है।
ये आँकड़े 2009 में जारी अनुमानित आंकड़ों से साढ़े छह करोड़ अधिक
हैं।
उक्त शोध के बाद पाया गया कि मधुमेह से पीड़ित लोगों की संख्या सम्पूर्ण
विश्व में तीव्र गति से बढ़ रही है जो विभिन्न देशों के स्वास्थ्य बजट को प्रभावित करेगी।
तीन वर्षों तक जारी रहे शोध के अनुसार जनसंख्या में नित्य वृद्धि, वृद्धों की
संख्या में बढ़ोतरी तथा लोगों में अनवरत बढ़ता मोटापा मधुमेह के प्रमुख कारण हैं।
शोधकर्ताओं
ने इस बात की ओर भी ध्यान आकर्षित कराया कि मधुमेह अब केवल अमीर देशों की बीमारी नहीं
रह गई है बल्कि विकासशील एवं निर्धन देशों में भी तेज़ी से फैल रही है।
विश्व
भर में अधिकांश लोग टाईप-2 क़िस्म के मधुमेह रोग से पीड़ित हैं जिसकी वजह है मोटापा और
ग़लत जीवन शैली जिसमें व्यायाम को जगह नहीं दी जाती।
यह चेतावनी भी दी गई कि
मधुमेह की वजह से दिल का दौरा पड़ सकता है, गुर्दे और अन्य तंत्रिकाओं की बीमारी हो सकती
है तथा नेत्रों की ज्योति जा सकती है। अनुमान है कि विश्व में प्रतिवर्ष लगभग तीस लाख
लोगों की मौत मधुमेह और उससे जुड़ी स्वास्थ्य समस्याओं के कारण हो जाती है।
भारत
और चीन में मधुमेह के 13.8 करोड़ रोगी हैं, जबकि अमरीका और रूस में उनकी संख्या 3.6 करोड़
है।