मुम्बई, 9 दिसंबर, 2010 (एशियान्यूज़) भारत के काथलिक धर्माध्यक्षों ने, सात दिसम्बर
की शाम वाराणसी के एक घाट पर हुए, आतंकवादी हमले की कड़ी निन्दी की है जिसमें एक बच्ची
की जान चली गई थी तथा अनेक व्यक्ति घायल हो गये थे। हमला उस समय हुआ जब अनेक श्रद्धालु
एवं पर्यटक गंगा आरती के लिये घाट पर जमा थे। पाकिस्तान से जुड़े भारत के मुज़ाहिदीन
अलगाववादी दल ने हमले की ज़िम्मेदारी ली है तथा उत्तरप्रदेश पुलिस ने अब तक तीन संदिग्ध
व्यक्तियों को इस सिलसिले में गिरफ्तार किया है। भारतीय काथलिक धर्माध्यक्षीय सम्मेलन
के महासचिव आगरा के धर्माध्यक्ष अल्बर्ट डिसूज़ा ने इस हमले कड़ी निन्दा की है। एक
वकतव्य जारी कर उन्होंने लिखा, "भारत की काथलिक कलीसिया इस हमले की कड़े शब्दों में भर्त्सना
करती है।" यह मानवता के विरुद्ध कायरता एवं घृणा का कृत्य था, विशेष रूप से, निर्दोष
लोगों के विरुद्ध जिनका हिंसा से कोई लेना देना नहीं है। हमले में मारी गई बच्ची के लिये
तथा उसके परिजनों के लिये हम प्रार्थना करते तथा घायलों के स्वास्थ्य लाभ की मंगलकामना
करते हैं। काथलिक कलीसिया इस निरर्थक हिंसा के शिकार बने सभी लोगों की सहायता के
लिये वचनबद्ध है तथा उनके प्रति गहन एकात्मता का प्रदर्शन करती है।" उन्होंने इस
बात पर गहन खेद व्यक्त किया कि उस पवित्र स्थल को निशाना बनाया गया जहाँ लोग श्रद्धा
अर्पित करने आते हैं। उन्होंने लिखा, "धार्मिक स्थल पर यह अकारण हिंसा भारत के नाम पर
कलंक है।" सभी से भारत में शांति हेतु प्रार्थना की अपील करते हुए धर्माध्यक्ष डिसूज़ा
ने कहा कि क्रिसमस महापर्व की पूर्व सन्ध्या हम शांति के राजकुमार प्रभु येसु मसीह से
प्रार्थना करें ताकि उन लोगों के दिलों शांति का बीज प्रस्फुटित हो जो हिंसक कृत्यों
में लिप्त रहा करते हैं।