केरलः कलीसियाई अधिकारियों का कहना है कि साम्यवादी कार्यकर्ताओं ने उन्हें मतदान से
रोका
केरल के कलीसियाई अधिकारियों का कहना है कि साम्यवादी कार्यकर्ताओं ने उन्हें, हाल ही
में संपन्न नागर चुनावों में मतदान करने से रोका।
सेंट मैरी मेजर सेमिनरी के
रेक्टर फादर जॉन कोचुथुनडयिल ने आरोप लगाया, "साम्यवादी कार्यकर्ताओं ने 130 गुरुकुल
छात्रों को मतदान नहीं करने दिया। उन्होंने कहा कि यह पहली बार था जब गुंडों ने गुरुकुल
छात्रों को धमकी दी और उन्हें मतदान की अनुमति नहीं दी।
फादर जॉन ने बताया कि
मतदाता सूची में उनके सभी छात्रों का नाम था तथा उन सभी के पास अनिवार्य पहचान पत्र थे।
फादर ने कहा कि साम्यवादी नेताओं को चुनाव हारने का भय था इसीलिये उन्होंने गुरुकुल छात्रों
को वोट नहीं देने दिया।
हालांकि, स्थानीय मार्क्सवादी नेता सुरेन्द्रन काडाकमपिल्ली
ने आरोप से इनकार करते हुए कहा कि विपक्षी कांग्रेस पार्टी फर्जी मतदान के लिए गुरुकुल
छात्रों का उपयोग करना चाहती थी।
इस बीच, मध्य केरल में एक कैथोलिक आध्यात्मिक
साधना केंद्र के 700 निवासियों को भी मतदान की अनुमति नहीं मिली। डिवाईन रिट्रीट सेन्टर
के निदेशक फादर मैथ्यू एलावुंगल ने कहा कि चुनाव के दौरान साम्यवादी पार्टी के नेताओं
ने उन्हें धमकाया था। उनके कार्यकर्त्ताओं ने राज्य के उत्तरी कन्नूर और वायनाड जिले
में मतदान से कई काथलिक पुरोहितों एवं धर्मबहनों को रोका।
खासी ईसाई आबादी वाले
केरल राज्य में अक्टूबर 23 और 25 को स्थानीय पंचायतों के चुनाव के लिये मतदान हुए थे
जिसमें, बताया जाता है बड़े पैमाने पर धांधली, फर्जी मतदान और हिंसा हुईं। 27 अक्टूबर
को चुनाव परिणाम की घोषणा के दौरान और अधिक हिंसा की आशंका जताई जा रही है।