इस्लमाबाद, 16 अगस्त, 2010 (बीबीसी) संयुक्त राष्ट्र महासचिव बान की मून ने पाकिस्तान
के बाढ़ प्रभावित इलाक़ों का दौरा करने के बाद कहा है कि पाकिस्तान को तत्काल सहायता
की ज़रूरत है और दुनिया के सभी देशों को मदद के लिए आगे आना चाहिए। उन्होंने साथ ही
पाकिस्तान सरकार को भरोसा दिलाया कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय ज़रूरत के इस समय में पाकिस्तान
के साथ है। बान की मून ने कहा "हम सभी ज़रूरी सहायता को जुटाने की कोशिश करेंगे और
आप याद रखें कि संकट की इस घड़ी में पूरी दुनिया के लोग पाकिस्तान के साथ हैं।" बान की
मून ने कहा कि वे लौटकर संयुक्त राष्ट्र महासभा को इस संबंध में और जानकारी देंगे। बान
की मून पाकिस्तान के प्रधानमंत्री यूसुफ़ रज़ा गिलानी की इस अपील के बाद पाकिस्तान पहुँचे
हैं कि विश्व समुदाय संकट की इस घड़ी में पाकिस्तान को ना भूले। पाकिस्तान सरकार
के अनुसार पाकिस्तान में पिछले 80 वर्षों में आई सबसे गंभीर बाढ़ से दो करोड़ लोग प्रभावित
हुए हैं। पाकिस्तान में बाढ़ से निपटने में नाकामी को लेकर इन दोनों पाकिस्तानी नेताओं
को आलोचना झेलनी पड़ रही है। "हम सभी ज़रूरी सहायता को जुटाने की कोशिश करेंगे और
आप याद रखें कि संकट की इस घड़ी में पूरी दुनिया के लोग पाकिस्तान के साथ हैं" पाकिस्तान
में बाढ़ के बाद अब प्रभावित इलाकों में महामारियों का ख़तरा मंडरा रहा है। शनिवार को
संयुक्त राष्ट्र की ओर से जारी एक बयान में हैजे के एक मामले की पुष्टि की गई। पाकिस्तान
पहुंचने पर संवाददाताओं से बातचीत के दौरान बान ने कहा, ''मेरी इस यात्रा का मक़सद दुनिया
के सभी देशों से अपील करना है कि वो पाकिस्तान की मदद के लिए जल्द आगे आएं। '' इससे
पहले पाकिस्तान के वरिष्ठ अधिकारियों ने इस बात की आलोचना की थी कि बाढ़ आपदा में मिल
रही अंतरराष्ट्रीय मदद काफ़ी सुस्त है। संयुक्त राष्ट्र में पाकिस्तान के प्रतिनिधि
ने बीबीसी से बातचीत में कहा कि बाढ़ से हुई तबाही का असर धीरे-धारे सामने आ रहा है और
इसके मुक़ाबले में वो मदद काफ़ी कम है जो बाढ़ प्रभावितों को मिल रही है। संयुक्त
राष्ट्र ने पाकिस्तान की मदद के लिए दुनियाभर से 45.9 करोड़ डालर की आपात मदद के लिए
अपील की है। इस बीच सिंधु नदी के बढ़ते जलस्तर के चलते पाकिस्तान में बाढ़ का ख़तरा
कम नहीं हुआ है। अधिकारियों का मानना है कि अगले कुछ दिनों में पाकिस्तान के पंजाब और
सिंध प्रांत में तबाही का असर और बढ़ेगा। संयुक्त राष्ट्र के एक अधिकारी के अनुसार
पाकिस्तान में बाढ़ संकट की स्थिति 2004 में हिंद महासागर में आई सूनामी से पैदा हुई
स्थिति से ज़्यादा गंभीर है. उनके अनुसार हेती में भीषण भूकंप से 30 लाख लोग प्रभावित
हुए थे और सूनामी से 50 लाख लोग प्रभावित हुए थे लेकिन पाकिस्तान में प्रभावित लोगों
की संख्या इन दोनों त्रासदियों से भी बड़ी है। अधिकारी ने बताया कि बाढ़ से 288,000
घर नष्ट हो गए हैं और 20 लाख से ज़्यादा लोग बेघर हो गए हैं।