2009-08-18 12:05:20

मनीलाः ख्रीस्तीय धर्मानुयायी विभाजित विश्व में सेतु निर्माता बनें, एशिया के धर्माध्यक्षों की अपील


एशिया के काथलिक धर्माध्यक्ष चाहते हैं कि ख्रीस्तीय धर्मानुयायी आज के विभाजित विश्व में सेतु निर्माता बनें।
मनीला में 16 अगस्त को एशियाई काथलिक धर्माध्यक्षीय सम्मेलनों के संघ की पूर्णकालिक सभा सम्पन्न हुई जिसके समापन पर जारी सन्देश में धर्माध्यक्षों ने कहा कि यूखारिस्त की रूपान्तरण शक्ति से ऊर्जा प्राप्त कर एशिया के काथलिक धर्मनुयायी जाति, धर्म, संस्कृति एवं भाषा पर आधारित सभी भेदभावों का बहिष्कार करें तथा लोगों के बीच सेतु निर्माता बनें।
एशिया के 23 देशों के लगभग 120 काथलिक धर्माध्यक्ष विगत सप्ताह मनीला में अपनी पूर्णकालिक सभा के लिये एकत्र हुए थे। सभा का विषय थाः "एशिया में यूखारिस्त के साथ जीवन यापन"।
सन्देश में यूखारिस्त को अत्यन्त प्रभावशाली मिशनरी कृत्य निरूपित कर धर्माध्यक्षों ने एशिया के पुरोहितों, धर्मसंघियों एवं लोकधर्मी विश्वासियों का आह्वान किया है कि वे यूखारिस्तीय संस्कार से शक्ति प्राप्त कर लोगों के बीच मैत्री, सहिष्णुता एवं एकता का निर्माण करें।
एशिया की तीन अरब सात करोड़ की कुल आबादी में काथलिक धर्मानुयायी मात्र तीन प्रतिशत हैं।








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