नेपाल में अनेक काथलिक पुरोहितों को विगत दिनों अनाम फोन सन्देश मिले हैं जिनमें फोनकर्त्ता
ने खुद को एक हिन्दु चरमपंथी दल का सदस्य बताते हुए कहा है कि यदि पुरोहित अपनी प्राण
रक्षा चाहते हैं तो शीघ्रातिशीघ्र देश छोड़कर चले जायें।
नेपाल के गोदावरी नगर
में विआनी प्रेरितिक केन्द्र चलाने वाले काथलिक पुरोहित फादर पियुस पेरूमाना ने एशिया
समाचार को बताया कि हाल के दिनों में उन्हें ऐसे अनेक अनाम फोन सन्देश प्राप्त हुए जिसमें
कहा गया कि एक माह के भीतर नेपाल छोड़ दो वरना परिणाम बुरा होगा। फोन करनेवाले ने धन
की मांग नहीं की।
उन्होंने कहा कि उन्होंने पुलिस में इन फोन सन्देशों की रिपोर्ट
की है किन्तु इसके बावजूद अधिकारियों ने प्रेरितिक केन्द्र को किसी प्रकार की सुरक्षा
नहीं प्रदान की।
फोन पर आनेवाली अपरिचित आवाज़ ने कहा कि वह नेपाल डिफेन्स आर्मी
का सदस्य है जो आर.के.मैनाली के नेतृत्व में गठित एक हिन्दु चरमपंथी दल है। ग़ौरतलब है
कि 23 मई को काठमाण्डू के काथलिक गिरजाघर पर हुए आक्रमण तथा फादर जॉन प्रकाश की हत्या
के लिये इसी आर.के. मैनाली पर सन्देह किया जा रहा है। इस दल की एक महिला सदस्य को गिरजाघर
में बम विस्फोट के सिलसिले में गिरफ्तार भी किया गया है।
फादर पेरूमाना के अतिरिक्त
लुभु में डॉन बॉस्को स्कूल के आचार्य फादर बेनजामिन पामपाकल को भी इसी तरह 20 जुलाई को
फोन पर धमकी दी गई। स्कूल के चौकीदार को भी फोन पर धमकाया गया कि वह ख्रीस्तीय संस्था
की नौकरी छोड़ दे।
इसी प्रकार सेन्ट ज़ेवियर स्कूल में कार्यरत फादर लॉरेन्स
मनीवार को भी धमकी दी गई और कहा गया कि नेपाल छोड़ो नहीं तो मौत का सामना करो। उन्होंने
बताया कि फोनकर्त्ता ने कहा कि नेपाल डिफेन्स आर्मी नेपाल को हिन्दु देश बनाना चाहती
तथा सभी ख्रीस्तीयों को यहाँ से भगाना चाहती है।
नेपाल के प्रेरितिक प्रशासक
धर्माध्यक्ष एन्थोनी शर्मा ने बताया कि सभी घटनाओं की रिपोर्ट पुलिस में की जा चुकी है
तथा उन्हें आशा है कि अधिकारी इनकी जाँचपड़ताल कर उपयुक्त कार्रवाई करेंगे।