भारतः उड़ीसा में ख्रीस्तीयों पर और अधिक आक्रमण की सम्भावना को अधिकारियों ने स्वीकारा,
और ख्रीस्तीय नेताओं ने स्थानीय चुनावों को मुल्तवी किये जाने की मांग की
उड़ीसा के मुख्य मंत्री नवीन पटनायक ने इस बात को स्वीकार किया है कि राज्य के सभी ज़िले
सुरक्षित नहीं हैं तथा कतिपय ज़िलों में ख्रीस्तीयों पर आक्रमण की सम्भावना है।
स्मरण
रहे कि अगस्त माह में कंधामाल ज़िले में हिन्दु अतिवादी नेता स्वामी लक्ष्मणानन्द की
हत्या का आरोप ख्रीस्तीयों पर लगाकर हिन्दु चरमपंथी दलों ने ख्रीस्तीयों के विरुद्ध हिंसक
आक्रमण आरम्भ कर दिये थे जो अभी भी पूरी तरह बन्द नहीं हुए हैं।
इस सप्ताह के
आरम्भ में केन्द्रीय कृषि मंत्री शरद पवार के नेतृत्व में तीन केन्द्रीय मंत्रियों के
शिष्टमणडल ने कंधामाल एवं आसपास के क्षेत्रों का दौरा कर स्थिति को तनावपूर्ण बताया था।
इसके बाद ही मुख्यमंत्री ने स्वीकार किया कि आक्रमणों की सम्भावना है तथा सभी इलाके जैसे
राईका, जी.उदयगिरी एवं टीकाबली ज़िले अभी भी सुरक्षित नहीं हैं।
इस बीच भूबनेश्वर
के काथलिक महाधर्माध्यक्ष राफायल चीनत के नेतृत्व में ख्रीस्तीय नेताओं ने केन्द्रीय
मंत्रियों के शिष्टमण्डल के समक्ष एक ज्ञापिका प्रस्तुत कर मांग की है कँधामाल ज़िले
में स्थानीय चुनावों को मुल्तवी किया जाये, ख्रीस्तीय समुदाय के विरुद्ध् सब प्रकार की
शारीरिक एवं शाब्दिक हिंसा का अन्त किया जाये, हिन्दु चरमपंथी दलों द्वारा आगामी क्रिसमस
महापर्व पर बुलाये गये बंद की निन्दा की जाये। उन्होंने मांग की कि नये आक्रमणों एवं
नई हिंसा की वारदातों के बिना उन्हें ख्रीस्तजयन्ती यानि क्रिसमस महापर्व मनाने का अधिकार
दिया जाये।