2016-10-13 13:08:00

धर्माध्यक्षों ने मुसलमानों को अशूरा की शुभकामनाएँ दी


नई दिल्ली, बृहस्पतिवार, 13 अक्टूबर 2016 (एशियान्यूज़): भारतीय काथलिक धर्माध्यक्षीय सम्मेलन के महासचिव धर्माध्यक्ष थेओदोर मासकरेनहास ने मुसलमानों के पवित्र महीने मुहरम में मनाये जाने वाले अशूरा पर्व की शुभकामनाएँ दी।

उन्होंने कहा, ″हमारे मुस्लिम भाई जिनका हमारे साथ कई बातों में समानता है, खासकर, भारत में दोनों ही समुदाय अल्पसंख्यक है।″ उन्होंने कहा कि यद्यपि हम उनके कई दृष्टिकोणों को नहीं अपना सकते हैं किन्तु दोनों ही समुदाय कई क्षेत्रों में एक-दूसरे के साथ शांति, भाईचारा एवं सहयोग की भावना से रहते हैं।

विदित हो कि मुस्लिम समुदाय ने 12 अक्तूबर को अशूरा का त्यौहार मनाया।

इमाम हुसैन इस्लाम धर्म की बुनियाद रखने वाले पैग़म्बर मोहम्मद के नाती थे जिनकी 680 ईसवी में इराक़ के कर्बला के मैदान में हुई जंग में मौत हो गई थी। दुनिया भर के मुसलमान मुहर्रम महीने की दस तारीख़ को उनकी 'शहादत दिवस' के रुप में मनाते हैं।

जागरण समाचार के अनुसार आशूरा के मौके पर अंजुमन-ए-इस्लामिया की ओर से वाजारात रोड के निकट करबला में रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया, जिसमें लद्दाख और कारगिल क्षेत्रों के छात्रों ने रक्तदान किया।

कई देशों में इस दिन हिंसा और आक्रमण का भय होता है। अतः पाकिस्तान, अफगानिस्तान तथा ईराक जैसे देशों में काफी सतर्कता बरती गयी। पाकिस्तान के ज्यादातर हिस्सों में मोबाइल फोन की सेवा मुहर्रम के दौरान बंद रही। धर्माध्यक्ष ने ग़ौर किया कि भारत के मुस्लमानों का ख्रीस्तीयों समेत अन्य समुदायों के साथ अच्छा संबंध है।

अपने संदेश में धर्माध्यक्ष मसकरेनहास ने आशा व्यक्त की कि इस तरह के धार्मिक अभ्यास तथा त्योहार उन्हें त्याग करने एवं सार्वजनिक हित के लिए दुःख सहने की प्रेरणा प्रदान करे। उन्होंने आसीसी में दिये गये संत पापा फ्राँसिस के संदेश का स्मरण दिलाते हुए कहा, ″हमारी धार्मिक परम्पराएँ भिन्न-भिन्न हैं किन्तु हमारी विविधताएँ संघर्ष और विवाद के कारण नहीं बन सकते अथवा न ही आपस की दूरी बढ़ा सकते हैं।″








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