कोलोम्बो, सोमवार, 4 जनवरी 2016 (एशियान्यूज़): श्री लंका में वेलीकाडा कारावास की महिला क़ैदियों ने कोलोम्बो के महाधर्माध्यक्ष कार्डिनल मेलकम रंजीथ से अपने तथा अपने बच्चों के लिये सहायता की अपील की है।
नववर्ष के उपलक्ष्य में शनिवार 02 जनवरी को कार्डिनल रंजीथ ने वेलीकाडा कारावास के महिला वार्ड में ख्रीस्तयाग अर्पित किया था।
ख्रीस्तयाग में अपने बच्चों सहित महिला क़ैदियों ने भाग लिया। इस अवसर पर उन्होंने कार्डिनल महोदय से अपील की कि वे उनके पक्ष में सरकार से आग्रह कर उनकी न्यायिक प्रक्रिया को गति प्रदान करें ताकि वे शीघ्र ही अपने परिवारों को लौट सकें।
कारावास के पुरोहित फादर जूलियन परेरा तथा क़ैदियों की मदद करनेवाली होली क्रॉस धर्मसंघ की धर्मबहनों के संग मिलकर क़ैदियों ने नववर्ष के ख्रीस्तयाग की तैयारी की थी। ख्रीस्तयाग सिंघली, तमिल तथा अँग्रेज़ी भाषाओं में अर्पित किया गया जिसके उपरान्त क़ैदी महिलाओं ने कार्डिनल को एक लिखित पत्र प्रस्तुत कर अपनी मांगें रखीं।
कार्डिनल रंजीथ को अर्पित पत्र में उन्होंने लिखा, "इस कारावास में कई महिला क़ैदी हैं जो माताएँ हैं, जिनके बच्चे घर पर अपनी माताओं के बिना जीवन यापन कर रहे हैं तथा अपार कठिनाइयों का सामना कर रहे हैं। आपसे निवेदन है कि आप उपयुक्त अधिकारियों से मुलाकात कर हमारी समस्याओं का समाधान ढूँढ़े।"
उनकी याचिका में महिलाओं ने अपील की कि उनके मुकद्दमों को गति प्रदान की जाये ताकि उनके बच्चों को माताओँ के साथ रहने के लिये जेल में जीवन न काटना पड़े और घर पर रहने वाले बच्चों को माताओं के बिना दुखद जीवन यापन न करना पड़े। उन्होंने यह भी अपील की कारावास का महिला वार्ड कोलम्बो के निकट स्थानान्तरित किया जाये ताकि उनके सगे-सम्बन्धी उनसे मिलने आ सकें।
एशियान्यूज़ से एक महिला क़ैदी ने कहा, "मुकद्दमों को गति प्रदान किया जाना तथा निष्पक्ष जाँचपड़ताल द्वारा कारावास की अवधि को कम किया जाना अनिवार्य है क्योंकि हम माताएँ हैं। हममें से कई महिलाएं 10 से 15 वर्ष कारावास में बिता चुकी हैं।"
ख्रीस्तायग प्रवचन में कार्डिनल रंजीथ ने महिलाओं को आश्वासन देते हुए इस तथ्य पर बल दिया कि क़ैदियों का जीवन कारावास में ही ख़त्म नहीं हो जाता।
उन्होंने उनसे कहा, "कारावास को आप एक अच्छा मौका और चुनौती मानकर अपने समय का सदुपयोग करें। आपमें से हर एक की गरिमा है जिसे नष्ट नहीं किया जाना चाहिये, विशेष रूप से, करुणा को समर्पित वर्ष में येसु ख्रीस्त से दया की याचना करें।"
All the contents on this site are copyrighted ©. |