बेरट, बुधवार, 17 जून 2015 (सीएनए)꞉ लेबनान में इस्लाम के चार भागों के नेताओं ने जून माह के आरम्भ में एक सभा में ईसाइयों के खिलाफ सांप्रदायिकता और इस्लामिक स्टेट के विस्तार के विरूद्ध एक संयुक्त बयान जारी कर क्षेत्र में ईसाइयों पर हमले का बहिष्कार किया।
उन्होंने कहा, ″धार्मिक, मानवीय और राष्ट्रीय सिद्धांतों के नाम पर पूर्व के ईसाइयों के खिलाफ धर्म से प्रेरित हमलों की सभा ने कड़ी निंदा करती है। लोगों के घरों, गाँवों, सम्पति तथा पूजा स्थलों पर हमले किये जा रहे हैं जबकि नबियों ने उनका सम्मान एवं रक्षा करने की सिफारिश की थी।″
लेबनान के इस्लामिक ख्रीस्तीय वार्ता के ऱाष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं सभा के समन्वयक मोहम्मद सम्मक ने कहा, ″अंतर मुस्लिम और इस्लामी-ईसाई संबंधों के लिए न्याय, सम्मान एवं विविधता के प्रति सम्मानता का रास्ता ही बेहतर रास्ता है।″
सभा ने मानव प्रतिष्ठा तथा सार्वजनिक स्वतंत्रता विशेषकर, धार्मिक स्वतंत्रता पर अपने विश्वास तथा धर्म के नाम पर किसी भी प्रकार के दबाव की अस्वीकृति को भी दोहराया।
काथलिक न्यूज़ एजेंसी के अनुसार मुस्लिम नेता देश में बढ़ते दबाव एवं हिंसा के कारण चिंतित हैं। अब तक 1.1मिलियन से अधिक सीरियाई शरणार्थी लेबनान पहुँच चुके हैं। नेताओं ने लोगों से अपील की है कि वे आपस में एक-दूसरे से अलग न समझे। उन्होंने कहा कि इसका अर्थ विचारों की भिन्नता का अभाव नहीं किन्तु विभिन्नताओं को स्वीकार करना है।
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