2015-03-18 15:07:00

श्रोताओं के पत्र


पत्र- 6.3.15

प्रिय फादर जस्टिन एवं सहयोगी, जय येसु। वाटिकन रेडियो समाचार के लिए धन्यवाद। ईश वचन को आप बड़े प्रभावपूर्ण तरीके से आज की पृष्टभूमि के आधार पर प्रचार कर रहे हैं। निश्चय ही, इसकी पहुँच विभिन्न आस्था के लोगों तक हो पायेगी तथा मानव जाति को एक नया संदेश मिलेगा। आप संत पापा के संदेश का प्रसारण कर रहे हैं जो कलीसिया और इसके मिशन की भावना से हमें जोड़े रखता है। आप इस मिशन को जारी रखें।- फादर अनिल।

पत्र- 9.1.15

प्राचीन काल मेँ वही राजा सबसे ताकतवर माना जाता था जिसके पास सर्वाधिक योद्धा और सैनिक होते थे। यह सोच और समझ कालांतर मेँ भारतीय समाज मेँ भी देखी गई। बड़े बुजुर्ग मानते थे कि आदमी खाने के एक मुंह के साथ धरती पर पैदा होता है लेकिन कमाने के उसके दो हाथ होते हैँ। धीरे-धीरे मशीनीकरण के आधुनिक युग मेँ बड़ी आबादी को बोझ समझा जाने लगा। माना जाने लगा कि एक-एक मशीनेँ ही सौ-सौ लोगोँ का काम अकेले कर देती हैँ। ऐसे मेँ ज्यादा आबादी विकास की बर्बादी की तरह होती है। आज फिर से इतिहास खुद को दोहराता देखा जा रहा है। फिर से आबादी जिँदाबाद के नारे लगाए जा रहे हैँ। इस लिहाज से हम खुशनसीब हैँ कि जहां दुनिया के अधिकांश देश बीमार और अपेक्षाकृत अधिक बुजुर्ग आबादी के बोझ से दबे हैँ वहीँ हमारे पास युवा और कार्यशील मानव संसाधन का जखीरा है। इस पर हमेँ फख्र है। इसी के बूते हम दुनिया पर भारतीय ब्रांड का पताका फहरा सकते हैँ। दिक्कत सिर्फ यह है कि हर हाथ को हुनर और हर दिमाग को कौशल युक्त बनाना होगा। सरकार कौशल विकास की तरफ बढ़ चली है। इस कार्यक्रम को तेज किए जाने की जरूरत है।

नमस्कार, मैं वाटिकन रेडियो का नियमित श्रोता हूँ। 11 मार्च को शाम की सभा में श्रोताओं के पत्र में हमारे पत्र को राजस्थान के श्रोता श्रवन कुमार के नाम से पढ़ा गया। दुःख की बात है कि ऐसी गलतियों का क्या मतलब?

डॉ. हेमन्त कुमार, प्रियदर्शनी रेडियो लिश्नर्स क्लब, गोराडीह भागलपुर, बिहार।

पत्र 14.3.15

आदरणीय साहब, मेरा नाम शैलेश ख्रीस्ती है कृपया मेरे लिए वाटिकन रेडियो ई समाचार भेज दें। धन्यवाद। - शैलेश ख्रीस्ती।

पत्र- प्रिय फादर, जय येसु। ई समाचार भेजने वालों की नाम सूची में कृपया मेरा नाम भी जोड़ दें तथा मेरे लिए ई समाचार भेजें। - फादर अंथ्रेस एस.ए.सी।

 








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