फादर पौल सिमिक नेपाल के नये प्रतिधर्माध्यक्ष नियुक्त
वाटिकन सिटी, शनिवार, 26 अप्रैल 2014 (वीआर सेदोक)꞉ संत पापा फ्राँसिस ने शुक्रवार 25
अप्रैल को, डार्जिलिंग के महागिरजाघर के पल्ली पुरोहित फादर पौल सिमिक को नेपाल का नया
प्रतिधर्माध्यक्ष नियुक्त किया। फादर पौल सिमिक 76 वर्षीय जेस्विट प्रतिधर्माध्यक्ष
अंतोनी फ्राँसिस शर्मा के सेवा निवृत होने पर विकर अपोस्तोलिक नियुक्त किये गये हैं। 50
वर्षीय फादर फौल सिमिक का जन्म डार्जिलिंग के जिदूब्लिंग में हुआ था। उन्होंने दर्शन
शास्त्र एवं ईश शास्त्र की पढ़ाई मोरर्निंग स्टार रिजनल सेमनरी बैरकपुर कलकत्ता से पूरी
की। 9 अप्रैल 1992 ई. में पुरोहिताभिषेक के पश्चात् उन्होंने कई पल्लियों में पल्ली पुरोहित
के रूप में सेवा दी तथा सन् 1995 ई. में आगे की पढ़ाई हेतु रोम रवाना हुए। रोम से डॉक्ट्रेट
की पढ़ाई समाप्त कर उन्होंने बैरकपुर रिजनल सेमनरी में प्राध्यापक का कार्य किया। इन
दिनों वे डार्जिलिंग में पल्ली पुरोहित हैं। नेपाली काथलिक कलीसिया की पीठ काठमण्डू
है। इसकी स्थापना प्रतिधर्माध्यक्ष शर्मा के कार्यकाल में हुई। सन् 1984 ई. में धन्य
संत पापा जॉन पौल द्वितीय ने प्रति धमाध्यक्ष शर्मा को नेपाली कलीसिया का अधिकारी तथा
सन् 1996 ई. में प्रशासक नियुक्त किया था। नेपाल को अपोस्तोलिक विकारियेट का दर्जा सन्
2007 ई. में प्राप्त हुआ अतः धर्माध्यक्ष शर्मा नेपाल के प्रथम धर्माध्यक्ष हैं। नेपाल
अपोस्तोलिक विकारियेट का क्षेत्रफल 147000 वर्ग किलोमीटर है जिसमें काथलिकों की संख्या
करीब 8,000 है जबकि पूरे नेपाल की आबादी लगभग 28.5 लाख से भी अधिक है। जहाँ 8 पल्लियाँ
हैं तथा पुरोहितों की संख्या 71 एवं धर्मबहनें 170 हैं।