हैदराबाद, सोमवार 27 जनवरी, 2014 (उकान) आन्ध्रप्रदेश के ‘मजीलिस ए इत्तेहदुल’ (एमआईएम)
के नेता अकबराउद्दीन ओवाइसी ने विधानसभा तेलंगाना बिल पर बहस करते हुए क्षेत्र में साम्प्रदायिकतावाद
फैलने पर चिन्ता व्यक्त करते हुए ग्रामीण तेलांगना में ईसाई पास्टर की हत्या का मामला
उठाया। उन्होंने कहा कि तेलंगाना राज्य के निर्माण के पूर्व ही साम्प्रदायिक ताकतों
ने अपने कुकृत्यों से इस क्षेत्र की शांति भंग करना आरंभ कर दिया है। उन्होंने संघ
परिवार पर आरोप लगाते हुए कहा कि सरकार ऐसे साम्प्रदायिक ताकतों को उनके मजबूत होने के
पूर्व ही उचित कारवाई करे और कुचल दे। उन्होंने कहा कि तुलनात्मक तरीके से इतिहास
पर ग़ौर करने से पता चलता है कि आंध्रप्रदेश में कम साम्प्रदायिक दंगे हुए हैं पर तेलंगाना
क्षेत्र में शांति भंग होने का कारण है उस क्षेत्र में संघ परिवार की गतिविधियाँ। विदित
हो कि तेलांगना के विकाराबाद गाँव में 11 जनवरी को पास्टर संजीववुल्लु और उनकी धर्मपत्नी
पर आक्रमण किया गया था जिसमें पास्टार संजीव की मृत्यु हो गयी। यह भी मालूम हो कि
हाल में नालगोंडा जिला पुलिस ने हिन्दु वाहिनी के सात कार्यकर्ताओं को पास्टर तल्ला क्रिस्तोफर
और पास्टर गज्जाला नीलाद्रि पाल पर हमले के मामले में गिरफ्तार किया था। कई ख्रीस्तीय
संगठनों ने मुख्यमंत्री किरम कुमार रेड्डी से माँग की है कि वे समुदाय की सुरक्षा सुनिश्चित
करें। उधर आन्ध्र प्रदेश फेडेरेशन ऑफ़ चर्चेस ने राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग से लिखित
निवेदन किया है कि वे उनकी सुरक्षा के कुछ ठोस कदम उठायें। उन्हें भय है कि विधान
सभा और लोक सभा चुनावों के पूर्व साम्प्रदायिक ताकतें चुनावी लाभ के लिये अल्पसंख्यकों
पर पुनः आक्रमण न कर दें।