वाटिकन सिटी, शनिवार, 12 अक्तूबर 2013 (एशियान्यूज़): "हम हमेशा चौकस रहें, शैतान के
छल एवं प्रलोभन से बचने के लिए, क्योंकि शैतान जिससे येसु ने लड़ाई कर विजय प्राप्त की
है, वापस आकर हम पर अधिकार करना चाहता है।" यह बात संत पापा फ्राँसिस ने शुक्रवार को
संत मार्था में पावन ख्रीस्तयाग के दौरान उपदेश में कही।
संत पापा ने 11 अक्तूबर
को सुसमाचार के उस पद पर चिंतन किया जिसमें येसु द्वारा अपदूतग्रस्त को चंगा किये जाने
पर, लोगों ने दोषारोपण किया तथा येसु ने लोगों को सात अपदूतों के दृष्टांत द्वारा शैतान
के प्रपंच के लड़ने के लिए सदा चौकस रहने की सलाह दी। उन्होंने कहा, "येसु की वास्तविकता
को कम करने का प्रलोभन जारी है। कुछ पुरोहित जब सुसमाचार के इस पाठ को पढ़ते हैं, वे
कहते हैं कि येसु ने एक मानसिक रोगी को चंगा किया। जो सही नहीं है। यह सच है कि अपदूतग्रस्त
को मिरगी बीमारी से ग्रसित समझने के भ्रम में पड़ सकते हैं, पर यह भी सच है कि शैतान
की उपस्थित को हम नकार नहीं सकते। बाईबिल के पहले पन्ने से लेकर अंतिम पन्ने तक हम शैतान
को पाते हैं जहाँ अंत में ख्रीस्त द्वारा उसे हरा कर बुराई पर विजय पाने का वर्णन है।"
संत पापा ने बताया कि शैतान से चौकस रहने के लिए येसु ने कुछ मापदंड दिए हैं,
पहला शैतान की उपस्थिति को पहचानना तथा प्रलोभन में ख्रीस्तीय पथ को अपनाना। दूसरा है
येसु का अनुसरण आधा नहीं करना अर्थात उनके विजय तक ही सीमित नहीं रहना। येसु बुराई पर
जीत कर शैतान से हमें मुक्त करने आये जिसके लिए उन्हें संघर्ष करना पडा। अतः येसु के
अनुसरण में संघर्ष है अन्त जीवन के लिए संघर्ष। अगला मापदंड है कि शैतान के छल से बचने
के लिए हमें सदा चौकस रहना चाहिए।
संत पापा ने कहा हमें अपने आप से प्रश्न पूछना
चाहिए कि क्या मैं आपने मेरी इच्छा, चाह और भावना के प्रति सचेत हूँ? क्या मैंने कृपा
को सुरक्षित रखा है? यदि हम अपने आप की रक्षा नहीं करते, तो हम से भी बलवान शत्रु आक्रमण
कर, हमारा हथियार को छीन कर नष्ट कर देता है। येसु ने बुराई विरुद्ध संघर्ष किया, जो
येसु के साथ नहीं हैं वे येसु के विरुद्ध हैं। कोई आधा रास्ता नहीं है। अपने हृदय की
रक्षा करें। क्योंकि शैतान चतुर है, वह कभी दूर नहीं जाता, सिर्फ अंतिम दिन वह हमेशा
के लिए चला जाएगा। शैतान के साथ किसी प्रकार का साझा न करें, वह अपना घर पाने की चेष्टा
करता है जिससे हम पर राज कर सके।