2012-11-12 14:00:25

योगाभ्यास, ‘विश्वव्यापी’ और धर्मिक दायरे से ऊपर


मुम्बई, 12 नवम्बर, 2012(कैथन्यूज़) योगा एक ऐसा साधन है जो ‘विश्वव्यापी’ और ‘धर्मों के दायरे से ऊपर’ हैं। उक्त बात आगरा केसंत पीटर कॉलेज के प्रिंसिपल काथलिक फादर जोन फेरेईरा ने उस समय कही जब उन्होंने अपनी किताब. ‘हेल्थ, वेल्थ एंड हैपीनेस थ्रू योगा’ (योगा द्वारा स्वास्थ्य, धन और आनन्द) पर अपने विचार दिये।
योगा पर लिखे किताब में लेखक ने योगा संबंधी अपने कई व्यक्तिगत साक्ष्य भी दियै है।
योगा पर लिखी किताब का विमोचन आगरा धर्मप्रांत के महाधर्माध्यक्ष अल्बर्ट डीसूज़ा ने कहा कि स्कूलों में योगा प्रशिक्षण दिये जाने से विद्यार्थियों को शिक्षा के समुचित रूप को ग्रहण कर पायेंगे जो शिक्षा यह समझेंगे कि शिक्षा केवल विज्ञान नहीं पर अच्छे जीवन जीने की एक कला है।
योगा पर लिखी किताब के विमोचन के समय मुम्बई के महाधर्माध्यक्ष कार्डिनल ऑस्वाल्ड ग्रेशेसियस के संदेश को पढ़कर सुनाया गया।
उन्होंने लिखा था कि योगा के विभिन्न आसनों के अभ्यास से व्यक्ति का चौरतफा विकास होता है और वह अपने अन्दर देख सकता और ईश्वर के साथ अपनी आत्मीयता बढ़ा सकता है।









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