2012-01-04 11:49:37

वाटिकन सिटीः साप्ताहिक आम दर्शन समारोह के अवसर पर दी गई सन्त पापा बेनेडिक्ट 16 वें की धर्मशिक्षा


श्रोताओ, बुधवार चार जनवरी को वाटिकन स्थित सन्त पापा पौल षष्टम भवन में देश विदेश से एकत्र तीर्थयात्रियों के समक्ष मुक्तिदाता येसु ख्रीस्त के देहधारण पर चिन्तन करते हुए, सन्त पापा बेनेडिक्ट 16 वें ने अपनी साप्ताहिक धर्मशिक्षा माला जारी करते हुए कहा,

"अति प्रिय भाइयो एवं बहनो,

इस क्रिसमस की इस अवधि में, कलीसिया, विश्व के मुक्तिoele रूप में, ईश्वर के पुत्र के देहधारण एवं उनकी प्रकाशना के रहस्य का समारोह मनाती है। पवित्र धर्मग्रन्थ बाईबिल एवं कलीसियाई परम्पराओं के साक्ष्यों के अनुसार, येसु ख्रीस्त के जन्म पर हमारी पहली प्रतिक्रिया हर्ष से परिपूर्ण होनी चाहिये। इस ज्ञान के आधार पर कि अपने ईश्वरीय जीवन में हमें सहभागी बनाने के लिये ईश्वर ने ख़ुद हमारी मानवीय प्रकृति का वरण किया। इस "चमत्कारिक विनिमय" पर चिंतन, जिसकी अनुभूति हम, सबसे शक्तिशाली ढंग से, पवित्र यूखारिस्त में पाते हैं, हमें ईश्वर के दत्तक पुत्र एवं पुत्रियाँ रूप में, अपनी उदात्त गरिमा को पहचानने के लिये, आमंत्रित करता है। धर्मग्रन्थ पाठ एवं आराधना विधि चिन्तन हमें सिखाते हैं कि क्रिसमस प्रकाश का पर्व है, इसलिये कि विश्व की ज्योति एवं पिता ईश्वर की महिमा की दीप्ति अर्थात्, ख्रीस्त ने, हमें अंधकार से प्रकाश के राज्य में प्रवेश दिलाया तथा सुसमाचार के प्रकाश को जन जन में प्रसारित करने हेतु हमें आमंत्रित किया है। इस क्रिसमस की अवधि के दौरान, हम अपने हृदयों में नवजात मुक्तिदाता का स्वागत करें तथा हमारे जीवन उनके द्वारा प्रदत्त हर्ष, नयेपन एवं प्रकाश के वरदानों से रूपान्तरित हो जायें।"

इस मंगलयाचना के बाद सन्त पापा बेनेडिक्ट 16 वें ने येसु ख्रीस्त जन्म पर अपना चिन्तन समाप्त किया तथा सब पर प्रभु ख्रीस्त की शान्ति का आह्वान कर सबको अपना प्रेरितिक आशीर्वाद प्रदान किया।








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