वाटिकन सिटी, 16 दिसंबर, 2010 (जेनित) न्याय और शांति के बनी परमधर्मपीठीय समिति के अध्यक्ष
कार्डिनल पीटर तुर्कसोन ने कहा है कि विश्व को शांति चाहिये और यह शांति येरुसालेम में
शुरु हो। कार्डिनल पीटर ने उक्त बातें उस समय कहीं जब उन्होने येरूसालेम में शांति
के लिये निवेदन के तीसरे अंतरराष्ट्रीय दिवस पर अपने संदेश में कहा। परमधर्मीठीय
समिति के इसी विभाग के सचिव धर्माध्यक्ष मारियो तोसो ने कार्डिनल के शांति संदेश को प्रकाशित
करते हुए कहा कि येरूसालेम में शांति के लिये कई काथलिक संगठनों ने मिलकर 29-30 जनवरी
को एक प्रार्थना सभा आयोजित करने का निर्णय लिया है। विदित हो कि येरूसालेम में शांति
के लिये प्रार्थना करने की शुरुआत सन् 2009 ईस्वी में शुरु की गयी जब दुनिया के करीब
500 शहरों के युवाओं ने मिलकर शांति के लिये प्रार्थनायें की। गौरतलब है कि विगत् जनवरी
विश्व 1103 शहर के युवाओं ने संत पापा से मिलकर शांति के लिये प्रार्थना की। ज़ेनित
समाचार के अनुसार इस प्रार्थना कार्यक्रम में संत पापा बेनेदिक्त सोलहवें के अलावा पवित्र
भूमि येरुसालेम के संरक्षक फादर पियेरबत्तिस्ता महाधर्माधय़क्ष फोवाद त्वाल और लैटिन पैट्रियार्क
भी हिस्सा लेंगे। आयोजकों की आशा है कि इस वर्ष 2000 शहर के लोग इस शांति प्रार्थना
में हिस्सा लेंगे। मध्य पूर्व की कलीसिया की विशेष सभा के आग्रह पर शांति और न्याय के
लिये बनी परमधर्मपीठीय समिति ने इस प्रार्थना सभा को पूर्ण समर्थन दिया है। कार्डिनल
तुर्कसोन ने कहा है कि कलीसिया आरंभ से ही शांति के संदेश को विश्व के कोन-कोने तक पहुँचाने
का अथक प्रयास करती रही है और आज भी दुनिया में शांति की तलाश करना शांति के लिये प्रयासरत
रहना निहायत ज़रूरी है। प्रार्थना कार्यक्रम के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा
इस प्रार्थना के द्वारा विश्व के विभिन्न संगठन एक स्वर से प्रार्थना करते हुए कहेंगे
कि " हमें शांति, मेल-मिलाप और एकता चाहिये जिसकी शुरुआत येरूसालेम में हो। उन्होंने
आशा व्यक्त की है कि इस प्रार्थना कार्यक्रम को लोगों का समर्थन मिलेगा और इससे शांति
के प्रयास और प्रेम की सभ्यता का विकास हो पायेगा। उन्होंने बताया कि इस प्रार्थना
योजना के अंतर्गत 24 घंटे तक लगातार प्रार्थना की जायेगी 5 विशेष प्रार्थना की जायेगी,
मेल-मिलाप और एकता के लिये प्रार्थना और अगले जनवरी माह में एक सप्ताह तक की ख्रीस्तीय
एकता के लिये भी प्रार्थना की सम्पन्न होगी। उन्होंने लोगों से अपील की है कि वे जहाँ
कहीं भी रहें, शांति के लिये अपना योगदान दे और " वी वान्ट पीस इन द होली लैंड " नामक
फेसबुक में भी शामिल हों ।