ईसाइयों के प्रति असहिष्णुता और भेदभाव की घटनायें बढ़ीं
वाटिकन सिटी, 13 दिसंबर, 2010 (ज़ेनित) संत पापा बेनदिक्त सोलहवें इस बात से चिन्तित
है कि हाल के दिनों में यूरोप मे ईसाइयों के प्रति असहिष्णुता और भेदभाव की घटनायें बढ़ीं
हैं।
उक्त बात की जानकारी वाटिकन प्रवक्ता जेस्विट फादर फेदेरिको लोमबार्दी ने
उस समय दीं जब उन्होंने वाटिकन टेलेविज़न के साप्ताहिक कार्यक्रम ‘ऑक्तावा दियेस’ में
यूरोप में ईसाइयों की स्थिति पर शुक्रवार को प्रकाशित पंचवर्षीय रिपोर्ट पर अपनी टिप्पणी
की।
फादर लोमबारदी ने कहा कि नया रिपोर्ट इस बात को स्पष्ट रूप से इंगित करता
है कि यूरोप में ईसाइयों के प्रति असहिष्णुता और भेदभाव में बढ़त्तरी हुई है, विशेषकर
के गिरजाघरों पर आक्रमण व तोड़फोड़, ईसाइयों के प्रति घृणा और उनपर आक्रमण एवं ईसाइयों
की पवित्र वस्तुओं का अनादर आदि । फादर लोमबारदी ने कहा अब वह समय आ गया है जब न केवल
वे लोग ईसाई धर्म और इसके मूल्यों की रक्षा के लिये कार्यरत है वरन् वे भी जो सहिष्णुता
और धार्मिक स्वतंत्रता जैसे मूल्यों का सम्मान करते हैं वे इस बचाने के लिये सामने आयें।
फादर लोमबार्दी ने संत पापा की इंगलैंड दौरा के दरमियां वेस्टमिनस्टर हॉल में दिये
गये वक्तव्य की याद दिलाते हुए कहा कि " धर्म समस्याओं को सुलझाने का एक साधन मात्र नही
है वरन् एक ऐसा तत्त्व है जो समस्याओं सार्वजनिक बहस में महत्त्वपूर्ण योगदान दे सकत
है। उन्होंने कजाकिस्तान के आस्ताना में ‘ऑरगानाईजेशन फॉर सेक्यूरिटी एंड कोओपेरेशन’
(ओएससीई) में सम्पन्न सभा की भी याद दिलायी और कहा कि वाटिकन सचिव कार्डिनल बेरतोने ने
वहाँ कहा था " अंतरराष्ट्रीय समुदाय को चाहिये कि वह ईसाइयों के प्रति असहिष्णुता और
भेदभाव के विरुद्ध वैसा ही एकजुट हों जैसा कि वे अन्य धार्मिक समुदायों के प्रति भेदभाव
पर एकजुटता दिखाते हैं। "