शांति का आह्वान करती है मध्यपूर्वी राष्ट्रों की विशेष सभा – फादर लोमबारदी
वाटिकन सिटी, 11 अक्तुबर, 2010 (ज़ेनित) वाटिकन के प्रवक्ता जेस्विट फादर फेदरीको लोमबारदी
ने कहा है कि रोम में मध्यपूर्वी राष्ट्रों के लिये आयोजित विशेष सभा मध्यपूर्व में शांति
का आह्वान करती है। फादर लोमबारदी ने उक्त बातें उस समय कहीं जब उन्होंने वाटिकन
टेलेविज़न के साप्ताहिक कार्यक्रम ‘ऑक्तावा दियेस’ में मध्यपूर्वी देशों के लिये आयोजित
स्पेशल असेम्बली के बारे में अपने विचार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि 10 अक्तुबर
से आरंभ हुए इस विशेष असेम्बली का समापन 24 अक्तुबर को होगा। उन्होंने बताया कि
मध्यपूर्वी राष्ट्रों में ईसाइयों की संख्या कम है और कई राष्ट्रों में तो ईसाइयों का
कोई सामाजिक या राजनीतिक प्रभाव नहीं है। कई राष्ट्र तो आपसी तनाव या गृह युद्ध के कारण
ईसाइयों और अल्पसंख्यकों के कल्याण पर कोई ध्यान भी नहीं दे पाते हैं। फादर लोमबारदी
ने लोगों का ध्यान इस ओर आकर्षित किया कि मध्यपूर्वी राष्ट्रों में ईसाई अल्पसंख्यक हो
गये पर ईसाइत की जड़ यहीं है। ईसाइयों की ऐतिहासिक, सांस्कृतिक और आध्यात्मिक परंपरा
का केन्द्र मध्यपूर्वी राष्ट्र रहा है। उन्होंने कहा संत पापा मध्यपूर्वी राष्ट्रों
पर विशेष रुचि लेते हैं और चाहते है कि हम भी इन राज्यों के चुनौतियों और समस्याओं से
अवगत हो सकें। फादर लोमबारदी ने कहा वैसे राष्ट्रों में जहाँ ईसाइयों का कोई सामाजिक
या राजनीतिक प्रभाव नहीं है वहाँ वे पवित्र आत्मा की शक्ति की याचना करते रहें ताकि क्षेत्र
में शांति और एकता स्थापित हो सके। वाटिकन प्रवक्ता ने आशा व्यक्त की है कि मध्यपूर्वी
राष्ट्रों का ईसाई समुदाय को संत पापा एवं विश्व के अन्य ईसाइयों के द्वारा आध्यात्मिक
और अन्य सहायतायें मिलती रहेंगी ताकि उनकी आपसी एकता को सुदृढ़ आधार मिल सके और लोगों
को शांति और आशा प्राप्त हो सके।