2010-06-29 12:06:53

वाटिकन सिटीः केवल सन्त पापा किसी कार्डिनल की आलोचना कर सकते हैं, कहना वाटिकन का


कलीसिया में केवल सन्त पापा को ही किसी कार्डिनल की आलोचना का अधिकार है। सोमवार को वाटिकन में ऑस्ट्रिया के कार्डिनल क्रिस्टोफ शोर्नबोर्न की सन्त पापा बेनेडिक्ट 16 वें से मुलाकात के बाद वाटिकन ने उक्त बात की पुष्टि की।
वाटिकन की विज्ञप्ति में उक्त मुलाकात के बारे में बताया गया कि अप्रैल माह में कार्डिनल शोर्नबोर्न द्वारा दिये गये कुछेक वकतव्यों पर सन्त पापा के साथ उनकी बातचीत हुई।
ग़ौरतलब है कि कार्डिनल शोर्नबोर्न के वकतव्यों की मीडिया में बहुत अधिक चर्चा हुई थी। वकतव्य सन् 1995 में ऑस्ट्रिया के कार्डिनल रहे हान्स हेरमन ग्रोएर द्वारा यौन दुराचार के प्रकरणों पर थे। मीडिया के अनुसार कार्डिनल शोर्नबोर्न ने कहा था कि उक्त प्रकरणों पर ऑस्ट्रिया की कलीसिया तथा तत्कालीन कार्डिनल जोसफ राटसिंगर पूर्ण जाँच पड़ताल के पक्ष में थे किन्तु तत्कालीन वाटिकन राज्य सचिव कार्डिनल आन्जेलो सोदानो ने जाँच पड़ताल पर रोक लगा दी थी।
वाटिकन की विज्ञप्ति में कहा गया कि सोमवार की मुलाकात में उन ग़लतियों को स्पष्ट किया गया जो कार्डिनल शोर्नबोर्न के वकतव्य से उत्पन्न हुई थीं। कार्डिनल महोदय ने मीडिया की ग़लत व्याख्या पर दुःख व्यक्त किया है।
विज्ञप्ति में आगे कहा गया कि यह स्मरण दिलाया जाता है कि जब किसी कार्डिनल पर आरोप लगाने की बात आती है तो यह कार्य केवल कलीसिया के परमाध्यक्ष यानि सन्त पापा का होता है। अन्यों की इसमें सलाहकारी भूमिका हो सकती है बशर्ते कि वह व्यक्ति विशेष की मर्यादा के सम्मान अन्तर्गत अदा की जाये।








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