2010-06-26 18:20:57

पतराव के समर्थन में धर्माध्यक्ष पौल डीसूजा ने भी धरना स्थल पहुँचे


मंगलोर 25 जून, 2010 (उकान) कई स्थानीय धर्मसंघियों ने धरने पर बैठे ग्रेगोरी पतराव का समर्थन किया हैं और उन्होंने कर्नाटक सरकार से माँग की है कि उसकी ज़मीन और संपति लौटा दे। ग्रेगोरी पतराव 17 जून से धरने पर हैं।
विदित हो कि पतराव के घर को उस समय गिरा दिया गया जब हाई कोर्ट ने केआईएडीबी के विरुद्ध की गयी उसकी अपील ख़ारिज कर दिया। पतराव ने दावा किया था कि उसका मकान 350 साल पुराना है।
मंगलोर के धर्माध्यक्ष पौल डीसूजा ने भी धरना स्थल पर ही 23 जून को पतराव से मुलाक़ात की और उन्हें अपना समर्थन दिया। उन्होंने कहा कि एक किसान के साथ घोर अन्याय हुआ और वे चाहते हैं कि उसे न्याय मिले।
मंगलोर महाधर्मप्रांत के काथलिक सभा के अध्यक्ष वाल्टर सिरिल पिंटो ने कहा है कि वे अपनी लड़ाई तबतक ज़ारी रखेंगे जब तक उन्हें न्याय नहीं मिल जाता है। उन्होंने सरकार से यह माँग की है कि वह उनकी संपति को लौटा दे जिसे मकान ढहने के पूर्व ज़ब्त कर लिया गया है।
उन्होंने कहा कि पतराव के विरुद्ध में जो भी आपराधिक रिपोर्ट दर्ज़ किये हैं उन्हें भी सरकार वापस ले ले।
स्थानीय लोगों ने पतराव के समर्थन में एक हस्ताक्षर अभियान जारी किया जिसके तहत 600 लोगों ने अपने ह्स्ताक्षर किये हैं। विभिन्न धर्मों की 23 संस्थाओं ने भी पतराव के समर्थन में सामने आयीं हैं।
उधर उकान समाचार ने जानकारी दी है कि मंगलोर रिफाइनरी एंड पेटरो केमिकल्स लिमिटेड के निर्माण के पहले चरण में पाँच गाँवों के लोगों का विस्थापन हो चुका है अब तीसरे चरण के विस्तार के समय कुछ और गाँवों पर विस्थापन के बादल मंडरा रहे हैं।









All the contents on this site are copyrighted ©.