निकोसिया, साईप्रसः साईप्रस में सन्त पापा मुसलिम धर्मगुरु से मिले
साईप्रस की राजधानी निकोसिया में, शनिवार सन्ध्या, सन्त पापा बेनेडिक्ट 16 वें ने उत्तरी
साईप्रस के मुसलमान धर्मगुरु से मुलाकात कर एक बार फिर इस बात की पुनरावृत्ति की कि साईप्रस
के एकीकरण के लिये अन्तरधार्मिक सम्वाद से प्रेरणा ली जानी चाहिये। वाटिकन ने प्रकाशित
किया कि साईप्रस यात्रा के दौरान यद्यपि मुसलमान धर्मानुयायियों के साथ मुलाकात पूर्वनिर्धारित
कार्यक्रम का अंग नहीं थी तथापि सन्त पापा बेनेडिक्ट 16 वें ने उत्तरी साईप्रस के सूफ़ी
नक्शबन्दी धर्मपन्थ के इस्लामी नेता 88 वर्षीय शेख़ मुहम्मद नज़ीम से मुलाकात की जो अत्यधिक
सौहार्द्रपूर्ण रही। ग़ौरतलब है कि शुक्रवार चार जून को सन्त पापा बेनेडिक्ट 16
वें साईप्रस की तीन दिवसीय प्रेरितिक यात्रा के लिये रवाना हुए थे। साईप्रस में काथलिक
कलीसिया के परमाध्यक्ष की यह पहली प्रेरितिक यात्रा है। इटली से बाहर सन्त पापा बेनेडिक्ट
16 वें की यह 16 वीं विदेश यात्रा है। रविवार सन्ध्या सन्त पापा पुनः रोम लौट रहे हैं।
इस्लामी रहस्यवाद के अनुपालन एवं अध्ययन में संलग्न, सूफ़ी नक्शबन्दी धर्मपन्थ के
इस्लामी नेता 88 वर्षीय शेख़ मुहम्मद नज़ीम ने निकोसिया स्थित वाटिकन के राजदूतावास के
बाहर उस समय सन्त पापा से मुलाकात की जब वे होली क्रॉस गिरजाघर जा रहे थे। यह क्षेत्र
संयुक्त राष्ट्र संघ की निगरानी वाला एक मध्यवर्ती क्षेत्र है। वाटिकन के प्रवक्ता फादर
लोमबारदी ने कहा कि जब सन्त पापा वाटिकन राजदूतावास से ख्रीस्तयाग अर्पण के लिये होली
क्रॉस गिरजाघर जा रहे थे तब पहियेदार कुर्सी पर बैठे शेख़ नज़ीम से उनकी मुलाकात हुई।
उन्होंने बताया कि सन्त पापा ने रुक कर इस्लामी धर्मगुरु का अभिवादन किया जिन्होंने कुर्सी
पर बैठे रहकर प्रतीक्षा करने के लिये सन्त पापा ने क्षमा याचाना की। इस मैत्रीपूर्ण
मुलाकात के दौरान शेख़ मुहम्मह नज़ीम ने सन्त पापा को एक छड़ी और इस्लामी जपमाला उपहार
स्वरूप प्रदान की। सन्त पापा ने भी शेख़ नज़ीम को वाटिकन के स्मारक पदक अर्पित किये।
फादर लोमबारदी ने बताया कि मुलाकात यद्यपि छोटी थी तथापि अति सुन्दर थी जिसके दौरान मुसलिम
धर्मगुरु ने सन्त पापा से पूछा कि क्या वे उनका आलिंगन कर सकते थे? जिसके उत्तर में सन्त
पापा ने कहा "हाँ, अवश्य"। फादर लोमबारदी के अनुसार मुलाकात तीन चार मिनट में खत्म हो
गई किन्तु सन्त पापा की साईप्रस प्रेरितिक यात्रा की यह एक यादगार घटना है। अपनी
साईप्रस यात्रा के दौरान सन्त पापा ने वाटिकन के राजदूतावास में ही पड़ाव किया जो उत्तरी
एवं दक्षिणी साईप्रस को अलग करनेवाली सीमारेखा के निकट स्थित है। सन् 1974 से तुर्की
ने उत्तरी साईप्रस पर कब्ज़ा कर रखा है जहाँ देश के अधिकांश मुसलमान निवास करते हैं जबकि
दक्षिणी साईप्रस की अधिकांश जनता ख्रीस्तीय धर्मानुयायी है। सन्त पापा की तीन दिवसीय
यात्रा दक्षिणी साईप्रस में ही सम्पन्न हुई। तुर्की अधिकृत उत्तरी साईप्रस से सन्त
पापा के साक्षात्कार को उत्तर तथा दक्षिण के मध्यवर्ती क्षेत्र पहुँचे शेख़ मुहम्मद ने
पत्रकारों से कहा, "एक महापुरुष के साक्षात्कार हेतु यहाँ आने के लिये मैं अत्यधिक प्रसन्न
हूँ..............अल्ला उन्हें अभी और आइन्दा भी सुखद जीवन प्रदान करें।" अनवरत जारी
झगड़ों से ऊब चुके नज़ीम ने कहा, "मैं हर्षित हूँ.... मेरी आशा है कि हमारी ग़लतियों
के बावजूद हमारे हृदय एक ही दिशा में जायेंगे।" सन्त पापा बेनेडिक्ट 16 वें ने कहा
है कि उनकी साईप्रस प्रेरितिक यात्रा राजनैतिक नहीं है तथा अपने सन्देशों एवं प्रवचनों
में भी उन्होंने साईप्रस के विभाजन के जटिल प्रश्न पर प्रत्यक्ष रूप कुछ नहीं कहा है।
किन्तु साईप्रस की ऑरथॉडोक्स ख्रीस्तीय कलीसिया के धर्माधिपति महाधर्माध्यक्ष क्रिज़ोस्तोमोस
के साथ मुलाकात के अवसर पर दिये एक प्रभाषण में बेनेडिक्ट 16 वें ने आशा व्यक्त की कि
सभी को "एक न्यायिक समझौते के लिये मिलकर कार्य करने की प्रज्ञा एवं शक्ति मिल सकेगी"।
उन्होंने सभी से शांति एवं पुनर्मिलन हेतु प्रयास करने का आग्रह किया तथा भावी पीढ़ियों
के लिये ऐसे समाज के निर्माण का आह्वान किया जिसमें, अन्तःकरण और धर्मपालन की स्वतंत्रता
के अधिकार सहित, सभी के अल्लंघनीय अधिकारों का सम्मान हो सके। शनिवार को राष्ट्रपति
देमेत्रिस क्रिस्टोफियास ने सन्त पापा से शिकायत की थी कि तुर्की अधिकृत उत्तरी साईप्रस
में ख्रीस्तीय धरोहर का विनाश किया जा रहा था। उन्होंने कहा, "यह व्याकुल कर देनेवाली
बात है कि अधिकृत क्षेत्रों में हमारी सांस्कृतिक और धार्मिक धरोहर को नष्ट किया जा रहा
है जिससे मानवजाति को भी क्षति पहुँच रही है।" दक्षिणी साईप्रस की ग्रीक सिप्रियट जनता
का कहना है कि सन् 1974 से अब तक कम से कम पाँच सौ ख्रीस्तीय गिरजाघरों एवं स्मारकों
को नष्ट कर दिया गया है। ऑरथॉडोक्स महाधर्माध्यक्ष क्रिज़ोसतोमोस ने तुर्की पर उत्तरी
साईप्रस से ख्रीस्तीयों के जाति सफाया का भी आरोप लगाया है। शनिवार सन्ध्या सन्त
पापा ने निकोसिया के होली क्रॉस गिरजाघर में पुरोहितों, धर्मबहनों, उपयाजकों, धर्मशिक्षकों
तथा लोकधर्मी संगठनों के सदस्यों के लिये ख्रीस्तयाग अर्पित किया। इस समारोह में लगभग
400 श्रद्धालु उपस्थित हुए।