2010-06-03 16:54:13

शिक्षा विषय पर ईसाईयों और मुसलमानों का संवाद


21 जून को 20 देशों के लगभग 50 ईसाई और मुसलमान लेबनान में बेरूत के निकट जूनियाह में आयोजित होनेवाले दो दिवसीय बैठक में शामिल होंगे जो शिक्षा के विषय पर अंतर धार्मिक संवाद को मजबूती प्रदान करने पर केन्द्रित होगा। द एजुकेशन फेथ एंड कल्चर -एक्सपीरियन्स क्रिश्चियन्स एंड मुसलिम डायलाग शीर्षक से सम्पन्न होनेवाली इस बैठक का आयोजन वेनिस आधारित ओयसिस फाउंडेशन कर रहा है। इस बैठक के शीर्षक और महत्व के बारे में फाउंडेशन के शोध निदेशक मारतिनो दियेज ने जेनिथ समाचार सेवा को दिये एक साक्षात्कार में कहा कि यह बैठक वार्षिक गतिविधि है। फाउंडेशन की साइन्टीफिक कमिटी द्वारा इसका आयोजन वेनिस और मुसलमान बहुत देशों में बारी बारी से किया जाता है। ओयसिस फाउंडेशन की स्थापना 2004 में कार्डिनल स्कोला के विचार पर की गयी थी। इसका लक्ष्य कलीसियाई लोगों तथा अकादमिक विशेषज्ञों को एक साथ लाना है ताकि ईसाईयों और मुसलमानों के मध्य सहअस्तित्व और संवाद का प्रसार करने के उपायों का विकास किया जा सके। उन्होंने कहा कि शिक्षा न केवल दक्षताओं को सिखाने का तरीका है लेकिन एक प्रकार की जीवन शैली को देने का माध्यम भी है। इस बिन्दु पर ईसाई और मुसलमान बहुत हद तक विचार विमर्श कर सकते हैं।

मारतिनो दियेज ने कहा कि हमारी विशिष्ट ऐतिहासिक परिस्थिति पाश्चात्य जगत में इमरजेन्सी स्थिति के रूप में देखी जाती है जिसने संत पापा को दो वर्ष पूर्व रोम के मसीही विश्वासियों के नाम शिक्षा के क्षेत्र में उत्पन्न मुद्दों का समाधान पाने के लिए एक पत्र लिखने को प्रेरित किया था। विगत वर्ष एक रिपोर्ट में इताली काथलिक धर्माध्यक्षीय सम्मेलन ने एक सांस्कृतिक प्रोजेक्ट का प्रस्ताव तैयार किया था। उन्होंने कहा कि शिक्षा के क्षेत्र में उत्पन्न समस्याओं को मुसलिम देशों में भी महसूस किया गया है जहाँ विरासत के साथ आधुनिकता का सामंजस्य़ स्थापित करने के प्रयास किये गये हैं। समृद्ध देशों में संवेदनशील शिक्षा नीतियाँ हैं तो अनेक देशों में शिक्षा क्षेत्र में विगत दशकों में शिक्षा का स्तर गिर गया है। अलग अलग देशों में मदरसे में दी जानेवाली शिक्षा में भी भिन्नता है। मारतिनो दियेज ने कहा कि ऐसे संदर्भ में धर्म की शिक्षा, इमामों के प्रशिक्षण, शिक्षा और संवाद, शिक्षा और हिंसा जैसे अनेक बिन्दुओं पर विचार विमर्श किया जायेगा। उन्होंने कहा कि यह बैठक लेबनान में सम्पन्न होगी, ऐसा जटिल देश जहाँ विभिन्न प्रकार के तनाव हैं लेकिन दूसरी ओर यह शिक्षा के क्षेत्र में सार्थक अनुभवों से समृद्ध देश भी है।







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