एभानजेलिकल प्रोटेस्टंट चर्च के 68 समुदायों द्वारा ' कारितास इन बेरिताते ' का स्वागत
वाशिंगटन, 29अगस्त, 2009। एभानजेलिकल प्रोटेस्टंट चर्च के 68 समुदायों ने संत पापा बेनेदिक्त
सोलहवें द्वारा लिखित कलीसियाई दस्तावेज़ कारितास इन बेरिताते का स्वागत किया है।
वाशिंगटन
में हुए सम्पन्न एक सेमिनार में विभिन्न देशों से आये प्रतिनिधियों ने लोगों के लिये
एक संयुक्त संदेश जारी कर इस दस्तावेज़ की तारीफ़ की है।
उन्होंने लोगों से
अपील की और कहा कि वे कारितास इन वेरिताते का अध्ययन अवश्य करें। इसके साथ उन्होंने यह
भी कहा है कि कारितास इन वेरिताते में दो बातें की ओर हमारा ध्यान आकर्षित करती है वह
है सत्य और प्रेम।
हमारे जीवन की नींव इन्ही दो बातों पर आधारित होनी चाहिये
ताकि हम येसु का करीब से अनुसरण कर सकें।
उन्होंने इस बात पर भी बल दिया है कि
कारितास इन वेरिताते चाहती है आर्थिक विकास इस तरह से हो कि इससे विश्व के सब ही लोगों
का प्रगति हो और मानव को मर्यादा मिले।
इतना ही नहीं यह दस्तावेज़ इस बात के
लिये भी लोगों का आह्वान करती है कि लोगों को धार्मिक स्वतंत्रता मिले पर्यावरण की रक्षा
हो गरीबी उन्मुलन के लिये कार्य और जीवन के महत्त्व को लोग समझे।
ज्ञात हो कि
इस सेमिनार में कनाडा अमेरिका श्री लंका नीदरलैंड इंगलैंड और न्यूजीलैंड के पत्रकारों
प्रोफेसरों और बुद्धिजीवियों ने भाग लिया।
उन्होंने आशा व्यक्त की है कि इस दस्तावेज़
के आधार पर जीवन को व्यवस्थित करने से और एक दूसरे की मदद करने से आर्थिक प्रगति का
वास्तविक लाभ विश्व को मिल पायेगा।
उन्होंने यह भी कहा कि लोग एक साथ मिल कर
कारितास इन वेरिताते के आदर्शों को पूरा करने में अपना योगदान दें।