धर्माध्यक्ष बेरनार्ड फेले ने संत पापा बेनेदिक्त सोलहवें के प्रति आभार प्रकट किया
मेनजिनजेन, 13 मार्च, 2009 । संत पीयुस दसवें धर्मसमाज के सुपीरियर जेनरल धर्माध्यक्ष
बेरनार्ड फेले ने संत पापा बेनेदिक्त सोलहवें को इस बात के लिये धन्यवाद दिया है कि उन्होंने
वृहस्पतिवार को एक पत्र जारी कर उसके धर्मसमाज के चार बिशपों के उपर लगी प्रतिबंध को
हटा दिया है।
धर्माध्यक्ष ने कहा कि अपने पत्र में संत पापा ने जिस बात पर बल
दिया है वह महत्त्वपूर्ण है कि हम ख्रीस्तीय विश्वास के लिये कार्य करें और उसे मजबूत
करने के लिये बात-विचार करें।
उन्होंने यह भी कहा कि उनके धर्मसमाज का भी यह
विश्वास है कि आज ज़रूरत है कि हम कमजोर होते हुए विश्वास को मजबूत बनाने के लिये कार्य
करें।
धर्माध्यक्ष ने इस बात को भी स्वीकारा कि कलीसिया आये दिन अनेक समस्याओं
का सामना करती रही है और उसके समाधान का सबसे उत्तम तरीका है कि हम विश्वास के दरवाज़े
से समस्या का समाधान खोजें।
धर्माध्यक्ष ने इस बात के लिये भी अपनी उदारता दिखलायी
कि वे वाटिकन द्वितीय के दस्तावेज़ों पर विचार करेंगे। इसके साथ वाटिकन द्वितीय की महासभा
के बाद जो भी दस्तावेज़ संत पापाओं ने लिखे उन पर भी काथलिक परंपरा के आलोक में विचार
करने को तैयार हैं।
ज्ञात हो कि सन् 1988 ईस्वी में संत पीयुस दसवें धर्मसमाज
के चार धर्माध्यक्षों को काथलिक कलीसिया ने बहिष्कृत कर दिया था क्योंकि उनका अभिषेक
महाधर्माध्यक्ष मारसेल लेफेबरे ने संत पापा की अनुमति के बग़ैर कर दिया था।
धर्माध्यक्ष
फेले ने कहा है कि काथलिक कलीसिया के सिद्धांत संबंधी विचार-विमर्शो को वे माता मरिया
के चरणों में सौंप देते है और आशा करते हैं कि उनकी मध्यस्थता से उन्हें विशेष उँजियाला
प्राप्त होगी।