प्रेम का साक्ष्य देने के लिये मतभेद भुलाना और हीन भावना से ऊपर उठना आवश्यक – कार्डिनल
राइलको
वाटिकन सिटीः 14 नवम्बर 2008। लोकधर्मियों के लिये परमधर्मपीठीय समिति के अध्यक्ष कार्डिनल
स्तानिसलाव राइलको ने कहा है कि ईसाइयों को चाहिये कि वे आपसी मतभेद भुलाकर और हीन भावना
से ऊपर उठकर ईश्वर के प्यार का साक्ष्य दुनिया को दें।
कार्डिनल स्तानिसलाव ने
उक्त बाते उस समय कहीं जब वे गुरुवार 13 नवम्बर को 23वीं प्लेनरी कौंसिल की सभा के उद्घाटन
के समय लोगों को संबोधित कर रहे थे।
ज्ञात हो लोकधर्मियों की कौंसिल ने अपने
20 वर्षें के कार्यों विकासो और चुनौतियों का मूल्यांकन कर रहे थे। कार्डिनल ने पश्चिमी
समाज का मूल्यांकन करते हुए कहा कि जो येसु मसीह के मूल्यों के अनुसार जीवन जीना चाहते
हैं उन्हें इसके लिये मूल्य चुकाना ही पड़ेगा न केवल गरीब देशों पर पर यूरोपीय देशों
में रह रहे ईसाइयों को भी।
उन्होंने कहा कि उनका विश्वास है कि ईसाई
परंपरा के अनुसार एक नये समाज का विकास हो रहा है जो उसके लिये सांत्वना की बात है।
उन्होंने लोगों से यह भी आह्वान किया कि ईसाई कभी भी अकेले नहीं हैं या कहीं भी अल्पसंख्यक
नहीं है पर हम खुद ही अपने को अल्पसंख्यक बना लेते हैं।
आज ज़रुरत है कि हम अपने
कमजोर विश्वास के कारण लोगों से अलग हो जाते हैं और सोचते हैं कि इससे शांति की प्राप्ति
हो जायेगी।
ख्रीस्तीय जीवन हमें आमंत्रित करता है कि साहसी बनें और येसु मसीह
के प्यार साक्ष्य दें। उन्होंने यह भी कहा कि वह समय आ गया है जब लोकधर्मियों को
ईसाई होने का दायित्व बखूबी निभाना पड़ेगा।
आज समय आ गया है जब लोकधर्मियों को
जीवन रक्षा के लिये सामने आना पड़ेगा परिवारों को मजबूत करने के लिये सामने आना पड़ेगा
तथा युवाओं को उचित नेतृत्व देने के लिये अपना समय देना पड़ेगा।
कार्डिनल ने लोगों
से कहा कि वे नयी दुनिया के निर्माण में अपना हाथ बटायें। जौभि कि यह कठिन कार्य है पर
इसको पूरा करना हमारा ही कर्त्तव्य है जिसे व्यक्तिगत औऱ सामूदायिक स्तर पर लगातार प्रयास
करने से अवश्य ही पूरा हो सकता है।