तीसरे बच्चे के जन्म पर जुर्माना देने की अनुशंसा पर काथलिक चर्च का कड़ा
विरोध केरल सरकार कानून संशोधन आयोग की अनुशंसा कि परिवार में तीसरे बच्चे के जन्म पर
परिवार को जुर्माना देना पड़ेगा का काथलिक चर्च ने कड़ा विरोध किया है। सरकार की इस अनुशंसा
पर कड़ी आपत्ति जताते हुए सीबीसीआई के अध्यक्ष कार्डिनल वार्की विथायाथिल ने कहा है
कि काथलिक कलीसिया इस अनुशंसा का अंतिम दम तक विरोध करेगी। ज्ञात हो कि कानून संशोधन
आयोग के अध्यक्ष वी. आर. कृष्णा ऐय्यर ने कहा है कि जिस परिवार में तीन बच्चे होंगे उस
परिवार को दस हज़ार जुर्माना देना पड़ेगा और उस बच्चे की शिक्षा और स्वास्थ्य की जिम्मेदारी
सरकार की नहीं होगी। प्रस्तावित अऩुशंसा की कानून संख्या सात के अनुसार कोई भी व्यक्ति
या संस्था को यह अधिकार नहीं होगा कि वह धर्म, प्रांत, जाति, सम्प्रदाय या रिवाज़ के
आधार पर यह माँग नहीं करे कि उन्हें ज़्यादा बच्चे करने की अनुमति दी जाये। इसके साथ
ही जो भी व्यक्ति, संस्थाएँ या संगठन इसके खिलाप कार्य करेंगे उन्हें कानून का उल्लंघन
माना जायेगा और उन पर मुकदमा चलाया जा सकता है।कार्डिनल वार्की ने इस प्रस्तावित अनुशंसा
का विरोध करते हुए कहा है कि जीवन देने का अधिकार ईश्वर को है। इस प्रकार के सरकारी कानून
का विरोध पहले भी किया गया था और आज भी इसका सख्त विरोध किया जायेगा।ज्ञात हो कि केरल
में दो विचारधारा के लोग मानते हैं कि राज्य सरकार ही सर्वोच्च शक्ति है और दूसरी विचारधारा
के लोगों का मानना हा कि लोगों को स्वतंत्रता सम्मान और उचित मर्यादा दिया जाये।कार्डिनल
वार्की ने कहा है कि जो लोग जीवन रक्षा के लिये कार्य कर रहे हैं उन्हें कोई भी शक्ति
नहीं रोक शक्ति है। मानव को पूरा अधिकार है कि निर्णय करे कि उसका परिवार कितना बड़ा
हो। |
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